भूकंप के झटकों से कांपा देश का यह इलाका, घरों से बाहर निकलकर भागे लोग
पूर्वोत्तर के राज्य असम में सोमवार की दोपहर भूकंप के झटके महसूस किए गए. रिक्टर स्केल पर भूकंप की तीव्रता 4.0 मापी गई.
नई दिल्ली:
पूर्वोत्तर के राज्य असम में सोमवार की दोपहर भूकंप के झटके महसूस किए गए. रिक्टर स्केल पर भूकंप की तीव्रता 4.0 मापी गई. राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र के अनुसार भूकंप दोपहर 1.13 बजे आया. भूकंप का केंद्र वेस्ट असम के कोकराझर में 10 किमी की गहराई में था. वहीं भूकंप के झटके लोगों में हड़कंप मच गया. लोग अपने घरों से निकल कर बाहर की ओर भागे. डर की वजह से खौफजदा लोग घंटों तक अपने घरों में वापस आने की हिम्मत नहीं जुटा सके. इसके साथ्ज्ञ ही भूकंप के झटके उत्तरी बंगाल में भी महसूस किए गए.
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जानकारी के अनुसार भूकंप के दौरान अभी तक किसी के मारे जाने या घायल होने की खबर नहीं है. इसके साथ ही किसी तरह के संपत्ति को नुकसान की भी जानकारी नहीं मिली है. आपको बताते चलें कि उत्तर-पूर्व भूकंप के लिहाज से काफी संवेदनशील इलाका माना जाता है, जिसके चलते यहां अक्सर धरती हिलती रहती है. इससे पहले गुजरात के कच्छ जिले में शनिवार को 4.1 तीव्रता के भूकंप के झटके महसूस किए गए थे. इंस्टीट्यूट ऑफ सीस्मोलॉजी रिसर्च (आईएसआर), गांधीनगर ने यह जानकारी दी थी. हालांकि किसी के हताहत होने या संपत्ति के नुकसान की कोई खबर नहीं है. आईएसआर की एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया है कि भूकंप दोपहर 12.08 बजे दर्ज किया गया, जिसका केंद्र कच्छ जिले के विश्व धरोहर स्थल धोलावीरा से 23 किमी पूर्व दक्षिणपूर्व (ईएसई) में स्थित था.
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एक पखवाड़े पहले कच्छ में इसी तरह की एक और भूकंपीय गतिविधि दर्ज की गई थी. 4 अगस्त को रापर के पास 4.0 तीव्रता का भूकंप दर्ज किया गया था. गुजरात राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (जीएसडीएमए) के अनुसार, कच्छ जिला 'बहुत उच्च जोखिम वाले भूकंपीय क्षेत्र' में स्थित है. जनवरी 2001 में जिले में 6.9 तीव्रता का विनाशकारी भूकंप आया था. वहीं, कलबुर्गी जिले के तीन तालुकों के करीब 50 गांवों के लोगों ने शुक्रवार रात भूकंप के झटके महसूस किए। इस घटना ने लोगों को अपने घरों से भागने और सुरक्षा के लिए पूरी रात बाहर बिताने को मजबूर कर दिया. कलबुर्गी सांसद डॉ उमेश जाधव और सेदाम विधायक राजकुमार पाटिल टेकूर देर रात गांवों में पहुंचे और ग्रामीणों को किसी भी स्थिति में हर संभव मदद का आश्वासन दिया. जिला अधिकारियों ने ग्रामीणों को शांत करने के लिए हर संभव प्रयास किया और उन्हें आश्वस्त किया कि भूकंप नहीं आया है.
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