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दिल्ली के लाल किला मेट्रो स्टेशन के पास हुए भयंकर कार धमाके की जांच अब संदिग्ध आतंकी हमले के रूप में की जा रही है. शीर्ष खुफिया सूत्रों के अनुसार, यह कोई सामान्य हादसा नहीं, बल्कि एक फिदायीन (आत्मघाती) शैली का हमला हो सकता है. इस विस्फोट में कम से कम 8 लोगों की मौत हो गई, जबकि कई अन्य घायल हुए हैं.
जांच में सामने आया है कि विस्फोट में इस्तेमाल की गई हुंडई i20 कार विस्फोटकों से भरी हुई थी. सोमवार शाम करीब 6:52 बजे यह कार लाल किला मेट्रो स्टेशन के गेट नंबर 1 के पास पहुंची और कुछ ही देर में जोरदार धमाका हो गया. विस्फोट इतना शक्तिशाली था कि आसपास की गाड़ियां जल गईं, स्ट्रीट लाइटें बुझ गईं और आग की लपटें कई फीट ऊंचाई तक उठने लगीं.
पुलिस ने 1 संदिग्ध को किया गिरफ्तार
सूत्रों के अनुसार, यह कार जम्मू-कश्मीर के पुलवामा निवासी तारिक के नाम पर रजिस्टर्ड थी. पुलिस ने उसे हिरासत में लेकर पूछताछ शुरू कर दी है. प्रारंभिक जांच में पता चला है कि तारिक के संबंध फरीदाबाद स्थित एक आतंकी मॉड्यूल से हो सकते हैं, जिसने इस धमाके की साजिश रची थी.
खुफिया एजेंसियों को शक है कि इस मॉड्यूल का डॉ. उमर मोहम्मद नामक व्यक्ति मुख्य मास्टरमाइंड था. माना जा रहा है कि धमाके के वक्त वह कार में मौजूद था. पुलिस ने कार से बरामद शव का डीएनए परीक्षण कराने का निर्णय लिया है ताकि यह पता लगाया जा सके कि शव उसी का है या नहीं.
जांच जारी
फॉरेंसिक जांच में साफ हुआ है कि कार में कोई तकनीकी खराबी नहीं थी, बल्कि वास्तविक विस्फोटक सामग्री का इस्तेमाल किया गया था. एनआईए, एनएसजी और दिल्ली पुलिस की विशेष टीमें मौके पर मौजूद हैं और हर एंगल से जांच कर रही हैं.
दिल्ली पुलिस आयुक्त सतीश गोलचा ने बताया कि प्रत्यक्षदर्शियों और घायलों से पूछताछ की जा रही है. जांच एजेंसियों का मानना है कि सीसीटीवी फुटेज और फॉरेंसिक साक्ष्य इस हमले की साजिश का खुलासा करने में मदद कर सकते हैं. फिलहाल पूरे इलाके में सुरक्षा कड़ी कर दी गई है.
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