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Exercise hand pain,hand exercises,hand pain relief,wrist pain,hand joi( Photo Credit : News Nation)
आज हर फील्ड में डेस्क जॉब्स इतनी बढ़ गई है कि हर किसी का काम कंप्यूटर पर होने लगा है. कंप्यूटर बिना तो लाइफ जैसे इंपोसिबल-सी हो गई है. जॉब्स तो आपको पता ही है कम से कम 8 से 9 घंटे की होती है. जिसके चलते इतने-इतने घंटों कंप्यूटर पर से हाथ नहीं हटता है. इसी के चलते लगातार काम करने से लोगों के हाथों में दर्द रहने लगा है. दर्द हो भी क्यों ना. लोगों को इतने घंटों काम करना मंजूर है. लेकिन, बिजी स्कैड्यूल से 5 मिनट निकालकर एक्सरसाइज करना मंजूर नहीं है. इसी कारण से आज हाथ के दर्द की समस्या दिन पर दिन बढ़ती जा रही है. लेकिन, चलिए पहले भी आपको इतने सारे दर्द के योगासन बता चुके हैं. आज हाथ के दर्द का भी बता देते है. जिसे करने से राहत मिलेगी. लेकिन, हमारा काम तो सिर्फ बताना है करना तो आपको ही है. ठीक होना है तो करिए जरूर.
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कंप्यूटर या लैपटॉप पर ज्यादा काम करने वालों में कार्पल सिंड्रोम जैसी प्रॉब्लम ज्यादा देखने को मिलती है. अब ये भी बता देते है कि ये होती क्या है. तो बता दें, कार्पल सिंड्रोम वह कंडीशन है. जिसमें कलाई की नस पर ज्यादा प्रेशर पड़ता है. इसी प्रेशर के कारण हाथों और कलाइयों में सुन्न होने का एहसास और झुनझुनी कर देने वाली कमजोरी महसूस होने लगती है. यह प्रॉब्लम सबसे ज्यादा लेडीज, हाथों से ज्यादा काम करने वाले लोगों या पहले से ही किसी हेल्थ प्रॉब्लम से जूझ रहे लोगों में ज्यादा देखने को मिलती है. लेकिन, साथ ही कंप्यूटर या लैपटॉप पर काम करने वाले लोगों में ये इस प्रॉब्लम का परसंटेज ज्यादा बढ़ा हुआ देखने को मिलने लगा है. अगर टाइम पर इस प्रॉब्लम पर ध्यान ना दिया जाए तो सर्जरी की नौबत भी आ जाती है. इसलिए, ये बहुत जरूरी है कि इस पर कंट्रोल किया जाए. तो चलिए बिना टाइम वेस्ट किए फटाफट एक्सरसाइज देख लेते हैं.
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हाथों को दर्द से राहत दिलाने के लिए सबसे पहले धीरे-धीरे कलाइयों को आगे-पीछे, ऊपर- नीचे और दाएं-बाएं करें. शुरूआत में इसे 4 से 5 बार करें. उसके बाद इस प्रोसेस को धीरे-धीरे बढ़ाते जाए.
दूसरी ओर, अपनी उंगलियों को एक-दम पूरी एनर्जी से स्ट्रेच करें. फिर उन्हें रिलैक्स दें. इस प्रोसेस को भी कम से कम 4 बार जरूर करें. इसी तरह से एक हाथ का इस्तेमाल करते हुए दूसरे हाथ पर हल्का-सा प्रेशर डालें. अंगूठे पर भी हल्का-सा प्रेशर डालकर उसे आगे और पीछे की ओर दबाएं. इस प्रोसेस को भी कम से कम 4 बार करें. इससे हाथों में होने वाले दर्द में राहत मिलने लगेगी. अपने दोनों हाथों को प्रेयर वाली पोजिशन में जोड़े. उसके बाद कमर से नीचे ले जाएं. वहां 30 सेकेंड्स तक इसे रोकें. इसे 2- 4 बार रोजाना करें. वहीं काम के बीच-बीच में मुट्ठी बनाएं और खोलें. इसके लिए आप एक सॉफ्ट बॉल की हेल्प भी ले सकते हैं. मुट्ठी खोलते टाइम उंगलियों को जितना हो सके स्ट्रेच कर लें.
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वहीं एक एक्सरसाइज होती है ड्राइविंग डॉल्फिन. इसे करने के लिए फोरआर्म प्लांक पोजिशन में आना पड़ेगा. जिसमें बॉडी का वेट कोहनी और पंजों पर रहता है. इस एक्सरसाइज के दौरान दोनों कोहनियां कंधों के नीचे रहेंगी. दोनों पैर ऐस (ass) के दोनों ओर रहेंगे. अब अपने पैरों से आर्म्स (arms) की ओर 8 से 12 इंच तक इस तरह चलें कि ऐस (ass) ऊपर की ओर उठ जाएं. इस योगा की शुरूआती पोजिशन यही रहेगी. अब अपने ऐस (ass) को नीचे लाएं और इस तरह बॉडी को सीधी लाइन में बैलेंस करें. जैसे कि आपके डाइव लगाने पर कंधे कलाई को छू जाते हैं. अब इसी को ऑपोजिट साइड करें ताकि पहली जैसी पोजिशन में पहुंच जाएं. फिर इस योगा को 1 से 2 बार जरूर करें. ऐसा करने से हाथों का दर्द कम होने लगता है.