Most Unlucky Movie Of Bollywood: भारतीय सिनेमा के इतिहास में कई फिल्में अपने निर्माण के दौरान दिलचस्प और रहस्यमय घटनाओं के लिए जानी जाती हैं, लेकिन ‘लव एंड गॉड’, जिसे कुछ लोग ‘कैस और लैला’ के नाम से भी जानते हैं की कहानी अपने आप में सबसे अलग और चौंकाने वाली है. जी हां, ये फिल्म न केवल बार-बार रुकती रही, बल्कि इससे जुड़ी मौतों ने इसे एक दुखद लीजेंड बना दिया. इतना ही नहीं, इस फिल्म को मनहूस का टैग भी मिला. तो चलिए हम आपको इस फिल्म के बारे में डिटेल में बताते हैं.
1963 में शुरू हुई शूटिंग
इस ऐतिहासिक प्रेम गाथा को निर्देशक के. आसिफ ने 1963 में शुरू किया था. फिल्म के लिए उन्होंने महान एक्टर गुरु दत्त को कैस की भूमिका में और एक्ट्रेस निम्मी को लैला के रूप में कास्ट किया था. लेकिन 1964 में एक दुखद मोड़ आया. गुरु दत्त का अचानक निधन हो गया, जिससे फिल्म की शूटिंग ठप हो गई.
फिर से शुरू हुई कोशिश, पर एक और सदमा
वहीं गुरु दत्त की मौत के बाद फिल्म बंद हो गई, लेकिन कुछ सालों बाद के. आसिफ ने इस अधूरे सपने को फिर से पूरा करने की ठानी. उन्होंने कैस की भूमिका के लिए संजीव कुमार को साइन किया और 1970 में फिल्म की शूटिंग दोबारा शुरू की. मगर किस्मत को शायद कुछ और ही मंजूर था. फिल्म की शूटिंग के दौरान के. आसिफ की भी मौत हो गई. ये उनके करियर की पहली और आखिरी अधूरी फिल्म बन गई, जिसकी रिलीज वो खुद कभी नहीं देख पाए.
आखिरकार पूरी हुई फिल्म
कई सालों तक अधूरी रहने के बाद लव एंड गॉड को फिल्म के डायरेक्टर के. आसिफ की मौत के बाद उनकी पत्नी अख्तर आसिफ ने इसे पूरा करने का फैसला लिया. उन्होंने फिल्ममेकर केसी बोकाडिया की मदद से शूटिंग पूरी करवाई. फिल्म के कुछ हिस्से तीन अलग-अलग स्टूडियो में शूट किए गए. जब सब कुछ तैयार हुआ, तभी एक और बुरी खबर आई 1985 में संजीव कुमार की भी मौत हो गई.
इस तरह फिल्म को बनाने में 23 साल लग गए. लगातार हादसों के चलते इसको बॉलीवुड की मनहूस फिल्म का टैग मिल गया. लेकिन तमाम मुश्किलों और दुखों के बाद आखिरकार ये फिल्म 27 मई 1986 को रिलीज हो पाई. दर्शकों के लिए ये फिल्म सिर्फ एक प्रेम कहानी नहीं थी, बल्कि इसके पीछे छिपा संघर्ष और त्रासदी भी उतनी ही गहरी थी. आज भी इस फिल्म में वहीं इमोशंस नजर आते हैं, जो इसको बनाते हुए डायरेक्टर दिखाना चाहता था.
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