Supreme Court Orders Samay Raina: जाने माने कॉमेडियन और सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर समय रैना को दिव्यांग व्यक्तियों पर की गई असंवेदनशील टिप्पणी का खामियाज़ा भुगतना पड़ रहा है. कुछ समय पहले एक वीडियो में उन्होंने दिव्यांगों का मजाक उड़ाते हुए टिप्पणी की थी, जिसके बाद भारी विरोध हुआ और उन्होंने सार्वजनिक तौर पर माफी भी मांगी. सुप्रीम कोर्ट ने तब उन्हें संबंधित वीडियो सोशल मीडिया से हटाने का आदेश दिया था.
वहीं अब इस मामले में एक बड़ा मोड़ आया है. सुप्रीम कोर्ट ने समय रैना समेत चार अन्य कॉमेडियन्स को निर्देश दिया है कि वो महीने में कम से कम दो बार दिव्यांगों के लिए फंडरेजिंग कार्यक्रम आयोजित करें. जुटाई गई राशि का उपयोग दिव्यांग व्यक्तियों और स्पाइनल मस्कुलर एट्रॉफी (SMA) से पीड़ित मरीजों के इलाज में किया जाएगा.
मुख्य न्यायाधीश सूर्यकांत की पीठ ने दिया आदेश
‘बार एंड बेंच’ की रिपोर्ट के अनुसार, यह आदेश मुख्य न्यायाधीश सूर्यकांत और न्यायमूर्ति जॉयमाल्या बागची की पीठ ने दिया. पीठ क्योर SMA इंडिया फाउंडेशन की उस याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिसमें दिव्यांगों की गरिमा का उल्लंघन करने वाले ऑनलाइन कंटेंट पर कार्रवाई की मांग की गई थी.
इन 4 कॉमेडियन्स पर भी कार्रवाई
सुप्रीम कोर्ट ने समय रैना के साथ जिन चार अन्य कॉमेडियन्स को निर्देशित किया है, वो विपुल गोयल, बलराज परमजीत सिंह घई, सोनाली ठक्कर (सोनाली आदित्य देसाई), निशांत जगदीश तंवर हैं.
कोर्ट ने कहा कि ये सभी कॉमेडियन्स पहले ही कोर्ट के पूर्व निर्देशों का पालन करने और ऐसे कार्यक्रम स्वेच्छा से आयोजित करने की इच्छा जता चुके हैं. उन्होंने दिव्यांग व्यक्तियों की ‘सफलता की कहानियों’ को उजागर करने की अनुमति भी मांगी थी. अब कोर्ट ने उन्हें निर्देशित किया है कि वो अपने कार्यक्रमों में दिव्यांगों को शामिल करने के लिए सक्रिय रूप से प्रयास करें.
महीने में दो एपिसोड
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि 'कॉमेडियन्स हर महीने दो एपिसोड तैयार करें, जिनमें दिव्यांग व्यक्ति मेहमान या पैनलिस्ट के रूप में शामिल हों. उनकी मेहनत, चुनौतियों और उपलब्धियों की कहानियां दिखाएं. ताकि समाज में जागरूकता फैले और दिव्यांगों की सकारात्मक छवि बने.
अगली सुनवाई से पहले दें रिपोर्ट
पीठ ने कहा, 'प्रतिवादी संख्या 6 से 10 (संबंधित कॉमेडियन्स) की ज़िम्मेदारी है कि वो अपने प्लेटफॉर्म्स पर विशेष रूप से सक्षम व्यक्तियों को आमंत्रित करें और SMA सहित अन्य गंभीर स्थितियों से जूझ रहे लोगों के उपचार के लिए धन जुटाने के अभियान को आगे बढ़ाएं. कोर्ट को उम्मीद है कि अगली सुनवाई से पहले ऐसे कई कार्यक्रम आयोजित किए जा चुके होंगे.
क्या था मामला?
समय रैना ने अपने शो ‘इंडियाज गॉट लेटेंट’ में दो महीने के SMA पीड़ित बच्चे का ज़िक्र करते हुए उस महंगे इंजेक्शन (लगभग 16 करोड़ रुपये) पर टिप्पणी की थी, जिसकी बच्चे को जरूरत थी. उन्होंने मजाक में कहा था कि यदि किसी मां के खाते में अचानक इतनी बड़ी रकम आ जाए तो वह अपने पति को लेकर क्या सोचेगी.
एक एनजीओ ने आरोप लगाया कि इस टिप्पणी में समय रैना ने एक नेत्रहीन नवजात बच्चे का भी मजाक उड़ाया और अत्यंत अनुचित टिप्पणी की, जो दिव्यांगों की गरिमा का उल्लंघन है.
ये भी पढ़ें: आईएएस बनना चाहती थीं ये एक्ट्रेस, फिर दोस्तों की 1 सलाह की वजह से बदली किस्मत, अब हैं बॉलीवुड की स्टार
Samay Raina को दिव्यांगों पर भद्दे कमेंट करना पड़ा भारी, सुप्रीम कोर्ट ने दिए ये सख्त निर्देश
Supreme Court Orders Samay Raina: समय रैना के कॉमेडी शो मामले पर सुप्रीम कोर्ट ने एक यूनिक सा फैसला लिया है. जी हां, सुप्रीम कोर्ट ने समय रैना समेत कुछ लोगों को सजा सुनाई है.
Supreme Court Orders Samay Raina: समय रैना के कॉमेडी शो मामले पर सुप्रीम कोर्ट ने एक यूनिक सा फैसला लिया है. जी हां, सुप्रीम कोर्ट ने समय रैना समेत कुछ लोगों को सजा सुनाई है.
Supreme Court Orders Samay Raina
Supreme Court Orders Samay Raina: जाने माने कॉमेडियन और सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर समय रैना को दिव्यांग व्यक्तियों पर की गई असंवेदनशील टिप्पणी का खामियाज़ा भुगतना पड़ रहा है. कुछ समय पहले एक वीडियो में उन्होंने दिव्यांगों का मजाक उड़ाते हुए टिप्पणी की थी, जिसके बाद भारी विरोध हुआ और उन्होंने सार्वजनिक तौर पर माफी भी मांगी. सुप्रीम कोर्ट ने तब उन्हें संबंधित वीडियो सोशल मीडिया से हटाने का आदेश दिया था.
वहीं अब इस मामले में एक बड़ा मोड़ आया है. सुप्रीम कोर्ट ने समय रैना समेत चार अन्य कॉमेडियन्स को निर्देश दिया है कि वो महीने में कम से कम दो बार दिव्यांगों के लिए फंडरेजिंग कार्यक्रम आयोजित करें. जुटाई गई राशि का उपयोग दिव्यांग व्यक्तियों और स्पाइनल मस्कुलर एट्रॉफी (SMA) से पीड़ित मरीजों के इलाज में किया जाएगा.
मुख्य न्यायाधीश सूर्यकांत की पीठ ने दिया आदेश
‘बार एंड बेंच’ की रिपोर्ट के अनुसार, यह आदेश मुख्य न्यायाधीश सूर्यकांत और न्यायमूर्ति जॉयमाल्या बागची की पीठ ने दिया. पीठ क्योर SMA इंडिया फाउंडेशन की उस याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिसमें दिव्यांगों की गरिमा का उल्लंघन करने वाले ऑनलाइन कंटेंट पर कार्रवाई की मांग की गई थी.
इन 4 कॉमेडियन्स पर भी कार्रवाई
सुप्रीम कोर्ट ने समय रैना के साथ जिन चार अन्य कॉमेडियन्स को निर्देशित किया है, वो विपुल गोयल, बलराज परमजीत सिंह घई, सोनाली ठक्कर (सोनाली आदित्य देसाई), निशांत जगदीश तंवर हैं.
कोर्ट ने कहा कि ये सभी कॉमेडियन्स पहले ही कोर्ट के पूर्व निर्देशों का पालन करने और ऐसे कार्यक्रम स्वेच्छा से आयोजित करने की इच्छा जता चुके हैं. उन्होंने दिव्यांग व्यक्तियों की ‘सफलता की कहानियों’ को उजागर करने की अनुमति भी मांगी थी. अब कोर्ट ने उन्हें निर्देशित किया है कि वो अपने कार्यक्रमों में दिव्यांगों को शामिल करने के लिए सक्रिय रूप से प्रयास करें.
महीने में दो एपिसोड
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि 'कॉमेडियन्स हर महीने दो एपिसोड तैयार करें, जिनमें दिव्यांग व्यक्ति मेहमान या पैनलिस्ट के रूप में शामिल हों. उनकी मेहनत, चुनौतियों और उपलब्धियों की कहानियां दिखाएं. ताकि समाज में जागरूकता फैले और दिव्यांगों की सकारात्मक छवि बने.
अगली सुनवाई से पहले दें रिपोर्ट
पीठ ने कहा, 'प्रतिवादी संख्या 6 से 10 (संबंधित कॉमेडियन्स) की ज़िम्मेदारी है कि वो अपने प्लेटफॉर्म्स पर विशेष रूप से सक्षम व्यक्तियों को आमंत्रित करें और SMA सहित अन्य गंभीर स्थितियों से जूझ रहे लोगों के उपचार के लिए धन जुटाने के अभियान को आगे बढ़ाएं. कोर्ट को उम्मीद है कि अगली सुनवाई से पहले ऐसे कई कार्यक्रम आयोजित किए जा चुके होंगे.
क्या था मामला?
समय रैना ने अपने शो ‘इंडियाज गॉट लेटेंट’ में दो महीने के SMA पीड़ित बच्चे का ज़िक्र करते हुए उस महंगे इंजेक्शन (लगभग 16 करोड़ रुपये) पर टिप्पणी की थी, जिसकी बच्चे को जरूरत थी. उन्होंने मजाक में कहा था कि यदि किसी मां के खाते में अचानक इतनी बड़ी रकम आ जाए तो वह अपने पति को लेकर क्या सोचेगी.
एक एनजीओ ने आरोप लगाया कि इस टिप्पणी में समय रैना ने एक नेत्रहीन नवजात बच्चे का भी मजाक उड़ाया और अत्यंत अनुचित टिप्पणी की, जो दिव्यांगों की गरिमा का उल्लंघन है.
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