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JahangirPuri Violence( Photo Credit : न्यूज नेशन)
जहांगीरपुरी हिंसा मामले में दिल्ली पुलिस की गिरफ्त में आया सलीम चिकना अपराधी प्रवृत्ति का है. उसके साथ ही उसके 4 अन्य साथियों पर दिल्ली पुलिस ने एनएसए के तहत कार्रवाई की जा रही है. दिल्ली पुलिस ने अपने डोजियर में साफ तौर पर लिखा है कि जहांगीरपुरी हिंसा के समय सबसे ज्यादा कोई अगर सक्रिय था, तो वो है सलीम उर्फ चिकना. यही नहीं, उसका भाई सोनू चिकना उर्फ इमाम फायरिंग के मामले में पकड़ा गया है, उसी का पिस्तौल चलाते हुए वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था. अब दिल्ली पुलिस ने सलीम चिकना की पूरी क्राइम कुंडली खोल कर रख दी है.
पेशे से कबाड़ी, पैसों की अब कोई नहीं कमी
सलीम चिकना पेशे से कबाड़ी है. दिल्ली पुलिस ने डोजियर में इस बात का जिक्र है कि वो बचपन में गरीबी की वजह से स्कूल नहीं जा पाया. घर की स्थिति अच्छी नहीं थी और स्कूल जाता नहीं था तो गलत संगतों में लगातार फंसता चला गया. इसका जन्म जहांगीरपुरी के सी-ब्लॉक में ही हुआ था. और साल 2010 में 9 मार्च को पहली बार इस पर मुकदमा दर्ज हुआ था. मौजूदा समय में सलीम चिकना कबाड़ का बड़ा व्यापारी बन चुका है और उसके पास खूब दौलत है. ये सारी दौलत उसने गलत रास्तों और कबाड़ के व्यापार से कमाया है.
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एक बार जेल गया, तो बिगड़ कर लौटा
दिल्ली पुलिस के डोजियर के मुताबिक, सलीम चिकना पर सबसे पहला मुकदमा 9 मार्च 2010 को दर्ज हुआ था. उसने उस रात अपने साथियो के साथ मिलकर चाकू की नोंक पर एक शख्स से लूटपाट की थी. जिसमे ये जेल गया और उसी के बाद से कबाड़ के धंधे की आड़ में क्राइम की दुनिया में उतर गया. एक बार जेल से लौटा, तो फिर इसने पीछे मुड़कर नहीं देखा. इसके ऊपर लूट पाट और आर्म्स एक्ट के कई मुकदमे दर्ज हैं. ये बेखौफ है. यही वजह है कि शोभा यात्रा में दंगा करने में ये सबसे ज्यादा एक्टिव था. उसके इन्हीं सब रिकॉर्ड्स की वजह से गृह मंत्रालय ने इस पर एनएसए की कार्रवाई की संतुति की है.
HIGHLIGHTS
- सलीम चिकना की क्राइम कुंडली आई सामने
- अनपढ़, लेकिन पैसों को पहचानता है
- जेल से लौटने के बाद जरायम की दुनिया में पूरी तरह सक्रिय