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रूस-यूक्रेन युद्ध के बीच तेज हुई LIC का IPO लाने की कवायद, ये बोले एक्सपर्ट

रूस -यूक्रेन युद्ध की वजह से भारतीय शेयर बाजार इन दिनों गिरावट का शिकार है. विदेशी नवेशक बाजार से पैसा निकालने में जुटे हुए हैं. इन सबके बीच देश में भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) के सबसे बड़े आईपीओं लाने की प्रक्रिया तेजी से चल रही है.

Updated on: 06 Mar 2022, 01:19 PM

highlights

  • सरकार LIC में बेचेगी अपनी 5 फीसदी हिस्सेदारी 
  • 65,000 से 70,000 करोड़ रुपये जुटाने की है योजना
  • 31 मार्च से पहले ही IPO लॉन्च करने का है इरादा

नई दिल्ली:

रूस -यूक्रेन युद्ध की वजह से भारतीय शेयर बाजार इन दिनों गिरावट का शिकार है. विदेशी नवेशक बाजार से पैसा निकालने में जुटे हुए हैं. इन सबके बीच देश में भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) के सबसे बड़े आईपीओं लाने की प्रक्रिया तेजी से चल रही है. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, मार्केट रेगुलेटर SEBI से सोमवार LIC के IPO के लिए जमा ड्राफ्ट पेपर को मंजूरी मिलने की संभावना जताई जा रही है. इसके साथ ही यह भी कहा जा रहा है कि  ड्राफ्ट पेपर को मंजूरी मिलने के कुछ दिनों बाद ही सरकार सेबी के पास रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्ट (RHP) जमा करा देगी. 

LIC के IPO से जुड़े एक अफसर के मुताबिक सेबी के सभी सवालों का जवाब सरकार जल्द से जल्द देने की कोशिश करेगी.  इसके बाद सरकार शेयर बाजार की वोलैटिलिटी और बाकी दूसरे पहलुओं के अध्ययन के बाद RHP जमा करने के लिए आगे बढ़ेगी. बताया जाता है कि सरकार LIC के RHP में आईपीओ लॉन्च की तारीख का ऐलान भी कर सकती है. गौरतलब है कि  RHP में ही सरकार LIC के आईपीओ का साइज, शेयरों का प्राइस बैंड सहित आईपीओ से जुड़ी बाकी सभी जानकारी दी जाएगी. आपको बता दें कि LIC ने 13 फरवरी को IPO के लिए ड्राफ्ट पेपर जमा किए थे.

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युद्ध ने फंसाया पेंच
दरअसल, सरकार LIC में अपनी 5 फीसदी हिस्सेदारी बेचकर करीब 65,000 से 70,000 करोड़ रुपये जुटाने की तैयारी में  है. ऐसे में इस IPO को सफल होने के लिए सभी तरह के निवेशकों की भरपूर समर्थन की जरूरत पड़ेगी. सरकार का इरादा इस IPO को इसी वित्तीय वर्ष यानी 31 मार्च से पहले ही लॉन्चकरने की थी. हालांकि, इस बीच रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध के चलते बाजार में गिरावट शुरू हो गई है. ऐसे में निवेशकों को अपना पैसा डूबने का डर सताने लगा है. ऐसे में सरकार के तरफ से नियुक्त मर्चेंट बैंकर्स ने इस आईपीओ को एक से दो महीने के लिए टालने की सलाह दी है.

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31.6 करोड़ शेयर बेचने की है योजना

लिहाजा, सरकार अभी आईपीओ की तारीख का ऐलान नहीं कर पा रही है. आपको बता दें कि सरकार LIC के करीब 31.6 करोड़ शेयरों को बेचेगी. LIC के आईपीओ के लिए जब ड्राफ्ट पेपर जमा किया गया था, तब सरकार की तरफ से विभिन्न स्तरों पर यह कहा गया था कि वह हर हाल में 31 मार्च से पहले आईपीओ को लॉन्च करना चाहती हैं. लेकिन, रूस-यूक्रेन युद्ध ने बाजार में स्थिति बदल कर रख दी है. इस बीच डिपार्टमेंट ऑफ इन्वेस्टमेंट एंड पब्लिक एसेट मैनेजमेंट यानी दीपम (DIPAM) के सचिव तुहिन कांत पांडेय ने शुक्रवार को कहा कि सरकार IC के IPO के बारे में कोई भी फैसला निवेशकों के हितों को ध्यान में रखकर ही करेगी. उन्होंने कहा कि सरकार LIC का IPO चालू वित्त वर्ष में ही लाना चाहती है, लेकिन इस समय कुछ अप्रत्याशित घटनाएं हो रही हैं. हम बाजार पर करीबी नजर बनाए हुए हैं.