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मकर संक्रांति 2019 : जयपुर के प्रसिद्ध गलता कुंड पर स्नान के लिए पहुंचे लोग, जानें क्या है कुंड से जुड़ी कहानी

महिलाओं पुरुषों ने सुबह से ही यहां पहुंचकर स्नान किया.

News Nation Bureau
| Edited By :
14 Jan 2019, 01:14:09 PM (IST)

नई दिल्ली:

मकर संक्रांति के पर्व पर दान पुण्य और स्नान का विशेश महत्व है. जयपुर के प्रसिद्ध गलता कुंड तीर्थ स्थल पर स्नान के लिए श्रद्धालुओं का तांता लगा है. महिलाओं पुरुषों ने सुबह से ही
यहां पहुंचकर स्नान किया. कहा जाता है कि इस दिन स्नान, दान-पुण्य का असर कई गुना बढ़ जाता है. गलता तीर्थ का इतिहास, महिमा और भव्यता अद्भुद है. कहते हैं गलता के सूर्य का पानी कभी नहीं सूखता. गलता तीर्थ ब्रह्मा के पौत्र और महिर्षी गलु के पुत्र ऋषि गालव की तपस्या स्थिली है. इसका शास्त्रों में उल्लेख मिलता है कि ऋषि गालव ने यहां साठ हजार वर्षों तक तपस्या की थी. कहा जाता है यहां गौमुख से निरंतर बहने वाली धारा गंगा की है. इससे जुड़ी भी एक किंवदंति है. ऋषि गालव प्रतिदिन यहां से गंगा स्नान के लिए जाते थे. उनका तप और आस्था देखकर गंगा मां बहुत प्रसन्न हुई और गालव के आश्रम में स्वयं उपस्थित होकर बहने का आशीर्वाद दिया. कहते हैं तब से गंगा की धारा यहां अनवरत बहती है.

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यहां सबसे पहले मंदिर निर्माण पृथ्वीसिंह के समय शुरू हुआ, जिन्होंने सीताराम मंदिर सहित कई निर्माण करवाये. इसके बाद कई राजाओं ने यहां मंदिर बनवाये. हरी-भरी पहाडि़यां और प्राकृतिक सौन्दर्य इस पावन स्थल का मुख्याकर्षण है. जयपुर शहर की पूर्वी पहाडि़यों के बीच सदियों से श्रद्धा का केंद्र बना यह ऐतिहासिक तीर्थ आज अंतर्राष्ट्रीय पर्यटन के नक्शे पर महत्वपूर्ण स्थान रखता है.