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नवजोत सिंह सिद्धू को करतारपुर जाने के लिए राजनीतिक मंजूरी लेनी होगी, बोले रवीश कुमार

करतारपुर कॉरिडोर को अगले महीने खोला जा रहा है. करतारपुर कॉरिडोर और पाकिस्तान द्वारा उठाए जा रहे कदम पर भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने कहा कि करतारपुर कॉरिडोर को लेकर एमयू (MOU) साइन हुआ था.

31 Oct 2019, 07:23:47 PM (IST)

नई दिल्ली:

करतारपुर कॉरिडोर (kartarpur corridor) को अगले महीने खोला जा रहा है. करतारपुर कॉरिडोर और पाकिस्तान द्वारा उठाए जा रहे कदम पर भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार (raveesh kumar) ने कहा कि करतारपुर कॉरिडोर को लेकर एमयू (MOU) साइन हुआ था. उसके बाद गृह मंत्रालय वेबसाइट लॉन्च किया था. रवीश कुमार ने कहा कि पहले दिन जो जत्था जाएगा उसकी लिस्ट पाकिस्तान को दे दी गई है. पाकिस्तान का रिप्लाइ अभी आना है.

इसके साथ विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि करतारपुर कॉरिडोर का उद्घाटन अलग-अलग होगा. हालांकि अभी इसपर बातचीत हो रही है कि उद्घाटन कौन करेगा और कैसे करेगा? जो फिलहाल स्थिति है उसमें कोई भी भारतीय और ओसीआई के रूप में फॉलो करना होगा.

रवीश कुमार ने आगे कहा कि करतारपुर जा रहे हैं तो दो चीजें ध्यान रखे, एक तो ये समझे कि दूसरे देश में जा रहे हैं. जिसके लिए पॉलिटिकल क्लीयरेंस लेना होगा. उन्होंने बताया कि जो हमने जत्था शेयर किया है उसमें हमारे कैबिनेट मंत्री और राजनेता हैं.

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नवजोत सिंह सिद्धू के पाकिस्तान से मिले निमंत्रण पर रवीश कुमार ने कहा, 'इसके साथ ही भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने स्पष्ट किया कि करतारपुर कॉरिडोर के उद्घाटन समारोह में शामिल होने वाले तीर्थयात्रियों, आमंत्रितों और राजनीतिक हस्तियों से जुड़े नाम पहले ही बता दिए जाएंगे. इसमें किसी तरह का सरप्राइज नहीं है. उन्होंने आगे कहा कि मेरी समझ यह है कि इस तरह की यात्राओं के लिए राजनीतिक मंजूरी लेने के सामान्य नियम लागू होते हैं.

बता दें कि नवजोत सिंह सिद्धू को पाकिस्तान से करतारपुर उद्घाटन समारोह में शामिल होने के लिए न्यौता मिला है. जिसे सिद्धू ने स्वीकार कर लिया है. सिद्धू ने कहा कि करतारपुर कॉरिडोर के ऐतिहासिक उद्घाटन में मुझे आमंत्रित करने के लिए मैं पाकिस्तान के प्रधानमंत्री का आभारी हूं. इमरान खान के निर्देश पर, समाचार एजेंसी पीटीआई सीनेटर फैजल जावेद ने सिद्धू से संपर्क किया और उन्हें यहां आने का न्यौता दिया.

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यूरोपियन यूनियन के सदस्यों की भारत यात्रा पर रवीश ने कहा, 'भारत सरकार के संज्ञान में लाया गया था कि विदेशी सांसदों का एक दल भारत दौरे पर आना चाहता है। सभी सांसद भारत को जानने को लेकर उत्सुक थे. इस मुलाकात का मकसद परिचय मात्र था। सभी विदेशी सांसद अलग-अलग राजनीतिक पार्टियों और देशों से थे. पहले भी ऐसी मुलाकातें होती रही हैं.

Raveesh Kumar, Ministry of External Affairs: They (MEPs) belonged to a spectrum of views from different countries of Europe and different political parties. Meetings were therefore accordingly facilitated as has been done on many previous occasions. https://t.co/seb2ES97th

— ANI (@ANI) October 31, 2019

जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के केंद्रशासित प्रदेश बनाए जाने पर चीन की प्रतिक्रिया को लेकर रवीश कुमार ने कहा, 'चीन के सामने भारत की स्थिति पूरी तरह से स्पष्ट है. जम्मू-कश्मीर और लद्दाख को केंद्रशासित प्रदेश बनाए जाने का मामला पूरी तरह से भारत का आंतरिक मामला है.