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Supreme Court On Farmers Protest: सुप्रीम कोर्ट में केंद्र सरकार ने कृषि कानून रद्द करने से किया इनकार

Supreme Court On Farmers Protest: केंद्र सरकार ने किसान आंदोलन को लेकर सुप्रीम कोर्ट में हुई सुनवाई में साफ कर दिया कि वह इन कानूनों को रद्द नहीं करेगी. बिल को लेकर सिर्फ पंजाब में ही विरोध हो रहा है. 

News Nation Bureau
| Edited By :
11 Jan 2021, 01:51:05 PM (IST)

नई दिल्ली:

सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में सोमवार को कृषि बिल और किसानों के प्रदर्शन (Farmers Protest) से जुड़ी सभी याचिकाओं पर सुनवाई की गई. सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट बिल को लेकर उठाए जा रहे केंद्र सरकार ने रवैये को लेकर नाराज दिखाई दिया. कोर्ट ने केंद्र से पूछा कि आपने इस बिल को लागू करने से पहले क्या कदम उठाए. किन लोगों से बातचीत के बाद इस बिल को लागू किया गया. 

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सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा?
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि हम इस बात से बहुत निराश है, जिस तऱीके से सरकार इस केस को हैंडल कर रही है. सरकार कहती है कि किसानों से बातचीत चल रही है लेकिनकिस तरह की बातचीत चल रही है जिसका भी तक कोई नतीजा नहीं निकल पाया है. कोर्ट ने कहा कि हमें नहीं पता कि आपने (केंद्र) कानून लाने से पहले तय प्रकिया का पालन किया. कई राज्य आपके खिलाफ क्यों हैं. कोर्ट ने पूछा कि क्या क़ानून बनाने से पहले किसी से चर्चा की गई थी? कोर्ट ने अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल से कहा- आप सिर्फ यही कहकर सुनवाई टालने की मांग करते रहे कि बातचीत चल रही है, हम सरकार के रवैये से बहुत निराश हैं. 

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सरकार भी बिल को लेकर सख्त
सुप्रीम कोर्ट ने जब कहा कि हम कमेटी का गठन कर रहे हैं. अगर सरकार फिलहाल अमल ओर रोक नहीं लगाती तो हम इस बारे में आदेश पास करेंगे. इस पर अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने कहा कि ऐसे कानून पर रोक नहीं लगा सकते हैं. उन्होंने कहा कि कमेटी भले ही बन जाये, क़ानून के अमल पर रोक न लगे. अटॉर्नी जनरल ने कहा कि कानून पर तब तक रोक नहीं लगा सकते जब तक दो बातें साबित न हो जाये. पहली ये कि ये क़ानून का बनाना विधायिका के अधिकार क्षेत्र से बाहर है और दूसरी कानून मूल अधिकारों का हनन है. अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने कहा कि सवाल ये है कि दक्षिण भारत के किसानों ने प्रदर्शन क्यों नहीं किया. उन्हें तो लगता है कि क़ानून उनके समर्थन में है. आपको कानून को समझना होगा, इस पर कोई फैसला लेने से पहले. हरियाणा CM किसानों से बात करना चाहते थे पर पूरे सेटअप को वहां प्रदर्शनकारियों ने गिरा दिया.