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ऐसा क्या हो गया कि पिछले तीन महीने में लोगों ने शराब पीना कम कर दिया

इस साल जनवरी से मार्चे के दौरान शराब की बिक्री (Liquor Sales) में महज 3 फीसदी का इजाफा देखा गया है, जबकि पिछले साल इसी दौरान शराब बिक्री में 13 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई थी.

News Nation Bureau
| Edited By :
30 Apr 2019, 08:11:01 AM (IST)

नई दिल्ली:

पिछले तीन महीने में ऐसा क्या हो गया कि लोगों ने शराब (Liquor) पीनी कम कर दी. दरअसल, लोगों ने शराब से पीछा नहीं छुड़ाया है, उन्हें मजबूरी में शराब से दूरी बनानी पड़ी है. हुआ यूं है कि पिछले तीन महीने से देश में चुनावी गतिविधियां चल रही हैं. इसके अलावा वित्तीय वर्ष भी खत्म हुआ है. बता दें कि कई राज्यों में वोटिंग चल रही है. इसलिए शांतिपूर्वक मतदान के लिए कई राज्यों में वोटिंग से पहले और वोटिंग के दौरान शराब की दुकानों को बंद कर दिया गया. यही वजह है कि पिछले तीन महीने में शराब की बिक्री में काफी गिरावट आई है.

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जनवरी-मार्च तिमाही में शराब की बिक्री घटी - liquor sales down during January-March quarter
इस साल जनवरी से मार्चे के दौरान शराब की बिक्री में महज 3 फीसदी का इजाफा देखा गया है, जबकि पिछले साल इसी दौरान शराब बिक्री में 13 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई थी. वित्त वर्ष (अप्रैल-मार्च) 2018-19 के दौरान शराब बिक्री की ग्रोथ 8 फीसदी दर्ज की गई है, जबकि पिछले साल इसी अवधि में शराब बिक्री की ग्रोथ 10 फीसदी थी. हालांकि कैलेंडर ईयर (2018-19) जनवरी से दिसंबर के दौरान शराब बिक्री में हल्का इजाफा देखने को मिला है. पिछले साल की बात करें तो जनवरी से दिसंबर के दौरान यह आंकड़ा 9 फीसदी ही था. वित्त वर्ष (अप्रैल-मार्च) 2018-19 के दौरान 36.1 करोड़ बोतल शराब की बिक्री दर्ज की
गई.

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जानकारों का कहना है कि चौथी तिमाही में नई एक्साइज पॉलिसी को देखते हुए डी स्टॉकिंग की वजह से शराब उद्योग के लिए सामान्तया चौथी तिमाही कमजोर रहता है. चूंकि इस समय चुनाव का माहौल है इसलिए शराब उद्योग पर दोहरा असर हुआ है. जानकारों की मानें तो 30 फीसदी मार्केट शेयर के साथ देश के सबसे बड़ी शराब कंपनी United Spirits की बिक्री पर सबसे ज्यादा असर पड़ा है. कंपनी की कर्नाटक की फैक्टरी में तीन शिफ्ट की बजाय दो शिफ्ट में ही काम हो रहा है. वहीं उत्तर प्रदेश में शराब की दुकानों के मालिकों को नए लाइसेंस जारी किए गए थे, जिसकी वजह से वहां स्टॉक की समस्या खड़ी हो गई थी. उसका असर भी शराब की बिक्री पर राज्य में काफी पड़ा था.

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