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Bangladesh Supreme Court( Photo Credit : Social Media)
बांग्लादेश में लंबे समय से हिंसा जारी है. इस बीच बांग्लादेश के सुप्रीम कोर्ट ने आज एक बड़ा फैसला सुनाया है. सर्वोच्च अदालत ने सरकारी नौकरियों में जारी आरक्षण में कटौती कर दी है. अदालत ने फैसला सुनाया कि सरकारी नौकरियों में अब सिर्फ 7 प्रतिशत ही आरक्षण दिया जाएगा. 93 फीसदी नौकरियां अब योग्यता के आधार पर ही होगा. अब तक सरकारी नौकरियों में 56 फीसदी आरक्षण दिए जाने का प्रावधान था. अदालत का कहना है कि स्वतंंत्रता संग्राम सेनानियों के परिजनों सहित अन्य श्रेणियों के लिए मात्र सात फीसदी सीटें ही आरक्षित होंगी. अदालत के फैसले से उम्मीद है कि अब प्रदर्शन खत्म हो सकता है.
हिंसा में अब तक 133 लोगों की मौत
इसी आरक्षण प्रणाली की वजह से राजधानी ढाका समेत पूरे देश में हिंसा भड़क गई थी. प्रदर्शनकारियों का तर्क था कि सरकार की आरक्षण व्यवस्था भेदभाव को बढ़ा रही है. हिंसा में अब तक 133 लोगों की मौत हो चुकी है. 18 जुलाई को भीषण विरोध प्रदर्शन हुआ था. प्रदर्शन रोजाना बढ़ ही रह था. इसी वजह से सरकार ने देश भर में कर्फ्यू लगा दिया था. कर्फ्यू के साथ-साथ कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए सरकार ने सेना को भी सड़कों पर उतार दिया था.
संचार-इंटरनेट और परिवहन सिस्टम ध्वस्त
हिंसा के कारण ढाका सहित अन्य शहरों के विश्वविद्यालयों और सड़कों पर छात्रों और पुलिस के बीच जमकर झड़प हुई. अधिकारियों ने इंटरनेट और मोबाइल सेवाओं को प्रतिबंधित कर दिया. हिंसा के कारण देश भर की संचार सेवाएं ठप हो गईं. टीवी चैनल भी हिंसा के कारण ठप पड़ गए. बांग्लादेशी न्यूज वेबसाइट भी लोड नहीं हो पा रही थी. हिंसा के चलते देशभर का परिवहन नेटवर्क ठप पड़ गया.
978 भारतीय छात्र वापस भारत लौटे
बांग्लादेश में प्रदर्शन के कारण भारतीय छात्रों में भय का माहौल था, जिस वजह से 978 भारतीय छात्र वापस भारत लौट आए थे. प्रदर्शन के कारण भारतीय उच्चायोग ने अलर्ट जारी किया था. उन्होंने बांग्लादेश में रह रहे भारतीय लोगों और छात्रों से अपील की कि वे अपने परिसरों से बाहर न निकलें. साथ ही उच्चायोग ने आपातकालीन नंबर भी जारी किए थे.
Source : News Nation Bureau