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ट्यूनीशिया में पहली बार महिला बनी पीएम, राष्ट्रपति कैस सईद ने लिया हैरान करने वाला फैसला

नजला बौदेंत रमजाने वर्ल्ड बैंक के लिए काम करती थी. राष्ट्रपति कैस ने उनके पूर्वाधिकारी को बर्खास्त किए जाने के बाद एक अंतरिम सरकार का नेतृत्व करने के लिए यह फैसला लिया है.

Updated on: 30 Sep 2021, 08:10 AM

highlights

  • ट्यूनीशिया में पहली बार एक महिला को प्रधानमंत्री के पद पर नियुक्त
  •  नजला बौदेंत रमजाने बनी ट्यूनीशिया की प्रधानमंत्री
  • राष्ट्रपति कैस सईद ने लिया हैरान करने वाला फैसला 

नई दिल्ली :

ट्यूनीशिया के राष्ट्रपति कैस सईद ने बुधवार को देश की पहली महिला प्रधानमंत्री को नामित किया है. राष्ट्रपति कैस सईद ने हैरान कर देने वाले एक फैसले के तहत एक प्रतिष्ठित इंजीनियरिंग स्कूल की प्राध्यापक नजला बौदेंत रमजाने (Najla Bouden Romdhane) को प्रधानमंत्री पद के लिए नामित किया है.नजला बौदेंत रमजाने वर्ल्ड बैंक के लिए काम करती थी. राष्ट्रपति कैस ने उनके पूर्वाधिकारी को बर्खास्त किए जाने के बाद एक अंतरिम सरकार का नेतृत्व करने के लिए यह फैसला लिया है. राष्ट्रपति सईद की ओर से 25 जुलाई को संसद भंग करने और कार्यकारी शक्तियां अपने हाथों में ले लेने के बाद से देश में प्रधानमंत्री का पद रिक्त है.

रिक्त पद को भरने के लिए राष्ट्रपति ने नजला बौदेंत को नामित किया है. राष्ट्रपति का यह कदम तानाशाही बताया जा रहा है. संसद में इस्लामवादी पार्टी ज्यादा सीटों पर है. लेकिन उनसे दरकिनार कर दिया गया.आलोचकों ने इस कदम को तख्तापलट करार देते हुए इसकी निंदा की है.

राष्ट्रपति ने सोशल मीडिया पर कहा कि उन्होंने पिछले सप्ताह घोषित प्रावधानों के तहत नजला बौदेंत रमजाने का नाम लिया और उन्हें जल्दी से एक नई सरकार बनाने के लिए कहा. उन्होंने कहा कि यह एक ऐतिहासिक फैसला है. सईद ने इसे ‘ट्यूनीशिया और ट्यूनीशियाई महिलाओं का सम्मान’ करार दिया.

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सईद ने कहा कि नई सरकार का मुख्य मिशन "कई राज्य संस्थानों में फैले भ्रष्टाचार और अराजकता को समाप्त करना" होगा. उन्होंने कहा कि नई सरकार को स्वास्थ्य, परिवहन और शिक्षा सहित सभी क्षेत्रों में ट्यूनीशियाई लोगों की मांगों और सम्मान का जवाब देना चाहिए.

साल 2011 के विद्रोह के बाद से रमजाने ट्यूनीशिया की दसवीं प्रधानमंत्री होंगी. दस साल पहले लोगों ने लंबे समय तक शासन करने वाले तानाशाह जीन अल अबिदीन बेन अली की सरकार को उखाड़ फेंका था. जिसके बाद अरब स्प्रिंग विद्रोह का जन्म हुआ था.