सिंधु जल समझौते पर अमेरिका का मध्यस्थता से इनकार, कहा- आपसी बातचीत से भारत-पाक सुलझाएं विवादित मुद्दे

भारत और पाकिस्तान के बीच विवादित मुद्दों को सुलझाने में मध्यस्थता करने से अमेरिका ने इनकार कर दिया है।

भारत और पाकिस्तान के बीच विवादित मुद्दों को सुलझाने में मध्यस्थता करने से अमेरिका ने इनकार कर दिया है।

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pradeep tripathi
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सिंधु जल समझौते पर अमेरिका का मध्यस्थता से इनकार, कहा- आपसी बातचीत से भारत-पाक सुलझाएं विवादित मुद्दे

भारत और पाकिस्तान के बीच विवादित मुद्दों को सुलझाने में मध्यस्थता करने से अमेरिका ने इनकार कर दिया है। अमेरिका ने कहा है कि दोनों देशों को आपसी बातचीत के माध्यम से मतभेद सुलझाना चाहिये।

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अमेरिकी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता जॉन किर्बी से जब पूछा गया कि क्या विदेश मंत्री जान केरी सिंधु जल समझौता पर चल रहे विवाद को सुलझाने के लिये मध्यस्थता करने की पेशकश की है। तब इस पर किर्बी ने कहा, "जैसा मैं कह चुका हूं, हम भारत और पाकिस्तान को अपने मतभेदों को सुलझाने के लिए साथ मिलकर काम करने के लिए प्रोत्साहित करते हैं।"

किर्बी ने इस बात की पुष्टि की कि जॉन केरी ने बीते गुरुवार को पाकिस्तान के वित्त मंत्री मोहम्मद इसहाक डार से बातचीत की, लेकिन उन्होंने उनके बीच हुई बातचीत का ब्योरा नहीं दिया।

पाकिस्तान के वित्त मंत्रालय ने शुक्रवार को जारी एक बयान में पाकिस्तान के पक्ष की जानकारी दी थी।

यह पूछे जाने पर कि क्या भारत से भी जॉन केरी की इस संबंध में कोई बातचीत हुई है तो किर्बी ने कहा, "विभिन्न मुद्दों को लेकर हम भारत और पाकिस्तान के साथ नियमित रूप से संपर्क में हैं। मेरे पास आपके लिए और अधिक जानकारी नहीं है।"

उन्होंने कहा, "मुझे लगता है कि आपको पता है कि सिंधु जल समझौता भारत और पाकिस्तान के बीच बीते 50 वर्षो से शांतिपूर्ण सहयोग की एक मिसाल है।"

किर्बी ने कहा, "हम भारत तथा पाकिस्तान को किसी भी मतभेद को सुलझाने के लिए साथ मिलकर काम करने को प्रोत्साहित करेंगे, जैसा कि हम पहले भी करते आए हैं।"

पाकिस्तान के वित्त मंत्रालय के मुताबिक, केरी ने डार को टेलीफोन किया था।

इस तरह का संकेत देते हुए कि केरी ने अमेरिकी मध्यस्थता की बात कही है, मंत्रालय ने कहा, "डार ने संकेत दिया है कि पाकिस्तान के सिद्धांतों तथा कानूनी रुख पर अमेरिका के समर्थन की सराहना की जाएगी।"

मंत्रालय के बयान के मुताबिक, डार ने केरी से यह भी कहा कि सिंधु जल समझौता एक अंतर्राष्ट्रीय प्रतिबद्धता है और विश्व बैंक की ये जिम्मेदारी बनती है कि वह इस बात को सुनिश्चित करे कि भारत इसका सम्मान करे।

हाल ही में विश्व बैंक के अध्यक्ष जिम योंग किम ने पाकिस्तान से संपर्क किया था।

Source : News Nation Bureau

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