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चीन-PAK पर और मुस्तैदी से होगी भारत की निगरानी, गृह मंत्रालय ने किया ये काम

भारत-चीन सीमा की सुरक्षा के लिए केंद्र की मोदी सरकार ने बजट में काफी इजाफा किया है. लोकसभा में मंगलवार को गृह मंत्रालय ने जानकारी देते हुए कहा कि पिछले वित्त वर्ष की तुलना में बजट को 6 गुना बढ़ा दिया गया है.

Updated on: 05 Apr 2022, 10:47 PM

नई दिल्ली:

भारत-चीन सीमा की सुरक्षा के लिए केंद्र की मोदी सरकार ने बजट में काफी इजाफा किया है. लोकसभा में मंगलवार को गृह मंत्रालय ने जानकारी देते हुए कहा कि पिछले वित्त वर्ष की तुलना में बजट को 6 गुना बढ़ा दिया गया है. केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने संसद में कहा कि सरकार ने भारत-चीन बार्डर पर बुनियादी ढांचे के विकास के लिए बीआईएम फंड को 2020-21 में 42.87 करोड़ से बढ़ाकर 2021-22 में 249.12 करोड़ रुपये कर दिया है, जोकि पिछले वित्त वर्ष की तुलना में 6 गुना ज्यादा है. 

नित्यानंद राय ने लोकसभा में कहा कि यह राशि 2019-20 में 72.20 करोड़ रुपये थी. 2019-20 में इसी तरह भारत-म्यांमार सीमा के लिए 20 करोड़ आवंटित किए गए थे, इसे घटाकर 2020-21 में 17 करोड़ कर दिया गया, लेकिन वर्ष 2021-22 में इसे करीब तीन गुना बढ़ाकर 50 करोड़ कर दिया गया. उन्होंने कहा कि भारत-बांग्लादेश बार्डर के लिए 2019-2020 का बजट 407 करोड़ रुपये था, जोकि वर्ष 2020-21 में घटाकर 294 करोड़ रुपये कर दिया गया था, लेकिन वर्ष 2021-22 में इसे बढ़ाकर 303 करोड़ रुपये कर दिया गया है.

आपको बता दें कि संसद सदस्य दिलीप सैकिया की ओर से असम सहित पूर्वोत्तर राज्यों के सीमावर्ती क्षेत्रों की सुरक्षा के मद्देनजर सरकार द्वारा पिछले तीन साल के दौरान आवंटित राशि पर पूछे गए सवाल के जवाब में गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने एक लिखित उत्तर में यह जानकारी दी है. उन्होंने कहा कि पूर्वोत्तर राज्यों के सीमावर्ती क्षेत्रों की सुरक्षा को आवंटित धन का उपयोग निर्धारित समयसीमा में किया गया है. 

नित्यानंद राय ने कहा कि सरकार ने अंतरराष्ट्रीय बार्डरों पर सुरक्षा को मजबूत करने के लिए एक बहु-आयामी दृष्टिकोण अपनाया है, जिसमें सीमा सुरक्षा बलों की तैनाती, गश्त द्वारा सीमाओं पर प्रभावी वर्चस्व, नाके लगाना, निगरानी चौकियों की निगरानी और समग्र समीक्षा शामिल हैं.