चीन के वुहान से नहीं बल्कि अमेरिका से आया है Corona Virus, रिसर्च में हुआ खुलासा
चीन से फैले इस खतरनाक वायरस (Corona Virus) ने पूरी दुनिया में अपनी जड़ें गहरे तरीके से जमा चुका है. ऐसे में चीन को लेकर चारों तरफ गुस्सा उफान पर है. लेकिन कोरोना पर अबतक हुए जांच में ये साबित नहीं हो पाया है कि ये वायरस चीन के वुहान से आया है.
नई दिल्ली:
पूरी दुनिया में महामारी कोरोना वायरस (CoronaVirus Covid-19) का कहर जारी है और दिनों-दिन इसकी चपेट में आने वाली की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है. वहीं देश में कोरोना पीड़ितों की संख्या 56,342 हो गयी है। इसमें से 37,916 कोरोना पॉजिटिव हैं. देश भर में अब तक 16,539 लोगों को विभिन्न अस्पतालों से छुट्टी दी जा चुकी है, जबकि मरने वालों की संख्या शुक्रवार सुबह तक 1886 हो गई है.
चीन से फैले इस खतरनाक वायरस (Corona Virus) ने पूरी दुनिया में अपनी जड़ें गहरे तरीके से जमा चुका है. ऐसे में चीन को लेकर चारों तरफ गुस्सा उफान पर है. लेकिन कोरोना पर अबतक हुए जांच में ये साबित नहीं हो पाया है कि ये वायरस चीन के वुहान से आया है.
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सीएनएन ने रिपोर्ट जारी कर कहा कि ब्रिटेन के शोधकर्ताओं ने दुनिया भर के 7600 मरीजों से मिले कोरोना वायरस के जीन का विश्लेषण किया. मालूम हो कि वायरस पिछले साल के अंत से दुनिया भर में फैलने लगा था. पहला मामला आने के बाद तेजी से इसका फैलाव शुरू हुआ हो गया.
यूनिवर्सिटी कॉलेज लंदन के इंस्टीट्यूट ऑफ जेनेटिक्स के शोधकर्ता फ्रेंकोइस बलोक्स ने सीएनएन को बताया कि कोरोना वायरस में परिवर्तन हो रहा है, लेकिन मतलब नहीं कि वह बिगड़ रहा है. उन्होंने कहा कि हमें पूरा विश्वास है कि वायरस पिछले साल के अंत में मानव को संक्रमित होने लगा था.
सीएनएन ने बताया कि इससे साफ हो गया है कि वायरस का फैलाव औपचारिक रिपोर्ट से पहले पश्चिमी देशों में होने लगा था. उसकी एक अन्य रिपोर्ट के अनुसार फ्रांस की राजधानी पेरिस के एक डॉक्टर ने कहा कि उन्हें नया सबूत मिला है, जिससे जाहिर है कि पिछले साल दिसंबर में एक मरीज कोविड-19 से संक्रमित हुआ और वह चीन नहीं गया था. अमेरिका से आया है कोरोना वायरस.
वहीं अमेरिकी मीडिया की रिपोर्ट के मुताबिक, अमेरिका के न्यूजर्सी मेयर माइकल मेलहम ने हाल में कहा कि वो पिछले साल नवम्बर में कोविड-19 से संक्रमित हुए थे. उनके द्वारा दिखाये गए नवीनतम जांच रिपोर्ट से जाहिर है कि उनके शरीर में नए कोरोना वायरस एंटीबॉडी है. जबकि इससे पहले अमेरिका ने कहा था कि इस साल जनवरी के अंत में अमेरिका में कोविड-19 का पहला पुष्ट मरीज आया था.
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मेयर मेलहम ने यह भी कहा कि पिछले नवम्बर में उन्होंने अटलांटिक शहर की एक बैठक में भाग लिया। वापस लौटते समय उन्हें बुखार हुआ. डॉक्टर ने उन्हें बताया कि वो फ्लू से संक्रमित हैं, उस समय उनकी कोई जांच नहीं की गयी थी. उन्होंने खुद ही इस बात को माना है.
कोविड-19 के न्यूजर्सी स्टेट में फैलने के बाद मेलहम ने डॉक्टर से उनकी टेस्ट करने की मांग की. परिणामस्वरूप उनके शरीर में नए कोरोना वायरस का एंटीबॉडी दिया गया था. उन्होंने कहा कि उस वक्त उनकी स्थिति बहुत गंभीर थी, वो इतने गंभीर फ्लू से संक्रमित पहले कभी नहीं हुए थे. उनका मानना है कि वह संभवत: कोविड-19 होगा. उनके आसपास के अनेक लोग भी नवम्बर या दिसम्बर में उनकी तरह गंभीर बीमार हुए थे.
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