डाकोला पर तनाव के बीच चीन का शक्ति प्रदर्शन, जिनपिंग बोले- चीनी सेना में हर दुश्मन से लड़ने की क्षमता
चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने सेना दिवस में हुए परेड के निरीक्षण के दौरान कहा कि पीपल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) के पास सभी दखल देने वाले शत्रुओं से लड़ने की क्षमता है।
highlights
- पीपल्स लिबरेशन आर्मी के 90 वर्ष पूरे होने पर पहली बार सेना दिवस परेड का आयोजन किया गया
- चीनी रक्षा बजट पर 152 मिलियन डॉलर खर्च कर विश्व का दूसरा ताकतवार देश
- शी जिनपिंग ने कहा, विश्व के सभी दखल देने वाले शत्रुओं से लड़ने की है क्षमता
नई दिल्ली:
चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने चीन के सेना दिवस के अवसर पर हुए परेड के निरीक्षण के दौरान कहा कि पीपल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) के पास सभी दखल देने वाले शत्रुओं से लड़ने की क्षमता है। रविवार को चीन की 2.3 मिलियन क्षमता वाली पीपल्स लिबरेशन आर्मी के 90 वर्ष पूरे होने पर पहली बार सेना दिवस परेड का आयोजन किया गया।
जिनपिंग ने कहा कि पीएलए को कम्यूनिस्ट पार्टी ऑफ चाइना (सीपीसी) के संपूर्ण नेतृत्व को कठोर तरीके से पालन करना चाहिए और जहां कहीं भी पार्टी चिन्हित करे, उसे अभियान चलाना चाहिए।
शी जिनपिंग ने भीतरी मंगोलिया के एक सैन्य अड्डे पर हुए इस सेना दिवस परेड में एक खुली जीप में सवार होकर सैन्य बलों का निरीक्षण किया। उन्होंने कहा कि कम्यूनिस्ट पार्टी ऑफ चाइना और चीन के लोगों को पीएलए पर गर्व है।
64 वर्षीय शी ने टीवी और रेडियो पर लाइव चल रहे अपने 10 मिनट के संबोधन में कहा, 'हमारी सेना को विश्वास और क्षमता है कि हम विश्व शांति की रक्षा और चीन के महान कायाकल्प के सपनों को पूरा करने के लिए एक मजबूत सेना के निर्माण का नया अध्याय लिख रहे हैं।'
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रविवार को देश की सैन्य क्षमता प्रदर्शित करने के लिए पारंपरिक मिसाइलों, परमाणु मिसाइलों समेत सबसे घातक और विध्वंसक हथियारों का प्रदर्शन किया गया।जमीन पर मौजूद सभी वाहन कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ चाइना (सीपीसी), देश और सेना का झंडा लिए चल रहे थे।
पिछले एक महीने से भारत और चीन के बीच सिक्किम में डोकलाम सीमा पर घुसपैठ को लेकर विवाद चल रहा है। इस बीच में राष्ट्रपति शी जिनपिंग का बयान और होने वाले सैन्य परेड भारत को इशारा करता नजर आ रहा है।
आपको बता दें कि पीएलए की स्थापना 1 अगस्त 1927 को हुई थी। चीनी सेना 152 मिलियन डॉलर खर्च कर, अमेरिकी सेना के बाद रक्षा बजट पर खर्च करने वाली विश्व की दूसरी सबसे बड़ी ताकत है।
साल 1949 में साम्यवादी क्रांति के बाद से चीन पहली बार सैन्य परेड के साथ सेना दिवस मना रहा है, जो औपचारिक रूप से एक अगस्त को होता है।
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