America Air Strike: इजरायल और हमास के बीच जंग जारी है. इस हमले में अब तक 5 हजार से अधिक लोग मारे जा चुके हैं. वहीं इस युद्ध में अमेरिका सीधे तौर पर इजरायल के साथ खड़ा हो गया है. इस अमेरिका ने सीरिया के पूर्वी हिस्से में एयरस्ट्राइक की है. अमेरिका के इस हमले की वजह से आतंकियों के कई ठिकाने तबाह हो गए है. इस हमले पर अमेरिका ने कहा कि वो ये हमला आत्मरक्षा में किया है.
हमले का जवाब
जानकारी के अनुसार अमेरिका ने सीरिया के पूर्वी हिस्से में आंतकियों पर बम बरसाए है. ये हमला अमेरिका ने शुक्रवार 27 अक्टूबर की सुबह की है. कहा जा रहा है कि ये हमला रेवोल्यूशनरी गार्ड के दो ठिकानों पर हुआ है. मीडिया रिपोर्ट के अनुसार ये संगठन अमेरिका पर हमले कर रहा था. अमेरिका रेवोल्यूशनरी गार्ड संगठन को आतंकी संगठन घोषित कर चुका है. इस संगठन को ईरान का समर्थन प्राप्त है.
अमेरिका ने इस हमले पर कहा कि ये हमला अमेरिकी राष्ट्रपति के निर्देश पर किया गया है. पेंटागन ने कहा कि आतंकी संगठन पर हमला आत्मरक्षा के लिए गया है. ये आतंकी संगठन ईरान के इशारे पर अमेरिकी सेना और सैन्य अड्डे पर कर रहे थे जो ईराक और सीरिया में स्थापित है. इस हमला के बाद इलाके में शांति बनाए रखने में मजबूती मिलेगी.
अमेरिका के 22 सैन्यकर्मी घायल
ये हमला उस वक्त किया गया है जब इजरायल हमास के खिलाफ जंग का ऐलान कर चुका है. पेंटागन ने कहा कि रिवोल्यूशनरी गार्ड संगठन ने 17 अक्टूबर के बाद सीरिया में 4 और ईराक में 12 अटैक कर चुका है. आतंकी संगठन के हमले की वजह से सैन्य अड्डों को नुकसान हुआ है वहीं उसे 22 सैनिक घायल भी है. इस हमले पर अमेरिका के रक्षा सचिव लॉयड ऑस्टिन ने कहा है कि ये हमला उस हमले का जवाब है जो 17 अक्टूबर से किया जा रहा था. उन्होंने कहा कि हम अपनी सुरक्षा और सैन्य कर्मियों की रक्षा के लिए हरसंभव प्रयास करेंगे. ऑस्टिन ने कहा कि मैं साफ कर दूं कि इस हमले संबंध इजरायल और हमास के बीच चल रहे हमले से नहीं है.
इजरायल और लेबनान में टेंशन बढ़ी
आपकों बता दें कि 7 अक्टूबर की घटना के बाद इजरायल हमास को खत्म करने का ऐलान कर चुका है. इजरायली सेना ने लोगों से अपील की है कि वो गाजा छोड़कर चले जाए. इजरायल ने गाजा पर हवाई हमले के बाद अब जमीन से कब्जा करना शुरू कर दिया है. लेकिन ये इतना आसान नहीं होगा. एक और हमास है तो दूसरी ओर लेबनान का आतंकी संगठन हिजबुल्ला है. जो लगातार इजरायल पर हमले कर रहा है. इसकी वजह से इजरायल और लेबनान में टेंशन बढ़ गई है.
Source : News Nation Bureau