उत्तरी थाईलैंड में एक बाढ़ग्रस्त संकरी गुफा से पिछले सप्ताह सुरक्षित बाहर निकाले गए 12 लड़कों और उनके फुटबॉल कोच को बुधवार को बातचीत के लिए पहली बार मीडिया के सामने लाया गया।
वाइल्ड बोर्स फुटबाल टीम के सदस्यों को चिआंग राई के एक अस्पताल से सुबह छुट्टी दे दी गई। अस्पताल में वे चिकित्सा और मनोवैज्ञानिक इलाज हासिल कर रहे थे। दो सप्ताह से अधिक समय तक गुफा में फंसे रहने के बाद इन्हें बेहद जोखिम भरे अभियान में सुरक्षित निकाला गया था।
समाचार एजेंसी एफे की खबर के मुताबिक, सभी लड़कें 13 से 17 साल की उम्र के बीच के है। सुरक्षित बाहर निकलने के बाद पहली बार मीडिया से मुखातिब होते हुए वे स्वस्थ और खुश दिखाई दिए।
प्रेस वार्ता के दौरान इनसे वे ही सवाल पूछे गए जिनकी एक मनोवैज्ञानिक ने अनुमति दी। 25 वर्षीय कोच इकपोल चांतवांग ने विस्तार से बताया कि कैसे भारी बाढ़ के कारण उनकी टीम गुफा में फंसी और निकास का रास्ता बंद हो गया।
कोच ने बताया कि अचानक एक घंटे के अंदर पानी का स्तर इतनी तेजी से बढ़ा कि उन्हें एक चट्टान पर खड़ा होना पड़ा और उन्होंने बाहर निकलने के लिए अपना रास्ता बनाने का प्रयास किया। उन्होंने कहा कि कम से कम हम कुछ करते रहने का प्रयास कर रहे थे।
कोच ने उन खबरों का भी खंडन किया, जिसमें कहा गया था कि कुछ लड़के तैरने में असमर्थ थे।
उन्होंने कहा, 'हम सभी तैर सकते थे। कुछ दूसरे से ज्यादा ताकतवर हैं, लेकिन सभी तैर सकते थे।' उन्होंने कहा कि बढ़ते बाढ़ के पानी ने सभी कोशिशों को नाकाम कर दिया।
लड़कों ने कहा कि उन्होंने गुफा से बच निकलने की आशा कभी नहीं खोई। उनमें से एक ने कहा, 'मैं उनसे (अन्य साथियों से) विश्वास रखने और मजबूत रहने को कहा।'
गुफा में उनके साथ रहने वाले बचाव कर्मियों के बारे में एक बच्चे ने कहा, 'मुझे महसूस हुआ कि वे हमारे पिता हैं।' जबकि अन्य ने कहा, 'मुझे खुशी है कि उन्होंने हमें व्यस्त रखा और हमारे लिए कुछ करने को ढूंढ निकाला।'
बच्चों और कोच के बचाव अभियान के दौरान थाई नौसेना के पूर्व कर्मी समरन कुनान की मौत हो गई। उन्हें पूरा देश एक नायक के रूप में सम्मान दे रहा है।
और पढ़ें- आठवीं तक फेल नहीं करने की नीति में संशोधन विधेयक को LS में मिली मंजूरी
Source : IANS