Pakistan News: पाकिस्तान में बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) के लड़ाके लगातार हमले कर रहे हैं. रविवार को भी बीएलए के लड़ाकों ने पाकिस्तानी सेना के काफिले को निशाना बनाया. जिसमें 90 जवानों की मौत हो गई. इस बीच चीन ने पाकिस्तानी को एक और पनडुब्बी सौंप दी. बता दें कि बीएलए पाकिस्तान में चीन की दखलअंदाजी का हमेशा विरोध करता रहा है. बावजूद इसके रविवार को चीन ने पाकिस्तानी नौसेना को दूसरी पनडुब्बी सौंप दी. ये पनडुब्बी अत्याधुनिक हथियारों और सेंसरों से लैस है.
चीन के आधिकारिक मीडिया ने रविवार को बताया कि हंगोर श्रेणी की ये पनडुब्बी, पाकिस्तान को करीब पांच अरब डॉलर के सौदे के तहत दी गई. इस सौदे के तहत चीन पाकिस्तानी नौसेना को कुल आठ पनडुब्बियां देगा. चीन ने इस पनडुब्बी को हुबेई प्रांत के वुहान से समुद्र में उतारा. ये पनडुब्बी चार आधुनिक नौसैनिक फ्रिगेट के अतिरिक्त है, जिन्हें चीन ने पिछले कुछ वर्षों में पाकिस्तान को दिया है. यह अरब सागर में चीनी नौसेना के निरंतर विस्तार के बीच पाकिस्तान की नौसैनिक ताकत को बढ़ाने के प्रयासों का हिस्सा है, जहां चीन बलूचिस्तान में ग्वादर बंदरगाह का विकास कर रहा है.
एक चीनी विशेषज्ञ ने सरकारी ग्लोबल टाइम्स को बताया कि नई पनडुब्बी में पाकिस्तानी नौसेना के लिए मुख्य आधार बनने के लिए एक मजबूत व्यापक लड़ाकू क्षमता है. बता दें कि एक समझौते के तहत, पाकिस्तान चीन से आठ हैंगर-क्लास पनडुब्बियां पाकिस्तान को सौंपेगा. उनमें से चार चीन में बनाई जाएंगी, जबकि शेष कराची में प्रौद्योगिकी हस्तांतरण कार्यक्रम के तहत निर्मित की जाएंगी.
आधुनिक हथियारों से लैस है पनडुब्बी
ये सभी पनडुब्बियां अत्याधुनिक हथियार और सेंसर से लैस होंगी. जिससे वे स्टैंडऑफ रेंज में लक्ष्यों को निशाना बनाने में सक्षम होंगी. चीनी सैन्य मामलों के विशेषज्ञ झांग जुनशे ने मीडिया को बताया कि हंगोर श्रेणी की पनडुब्बियों में पानी के अंदर मजबूत युद्ध क्षमताएं हैं और वे एक हवाई-स्वतंत्र प्रणोदन प्रणाली से लैस हैं जो नाव को मजबूत, निरंतर चुपकने की क्षमता, गतिशीलता और शांति प्रदान करेगी. उन्होंने कहा कि इसकी मारक क्षमता में टॉरपीडो, एंटी-शिप मिसाइल और माइन-लेइंग क्षमताएं शामिल हैं, साथ ही पानी के अंदर उन्नत पहचान प्रणाली भी लगाई गई है.
पाक को 5 साल में की 81 फीसदी हथियारों की सप्लाई
बता दें कि स्टॉकहोम इंटरनेशनल पीस रिसर्च इंस्टीट्यूट (SIPRI) की एक हालिया रिपोर्ट के अनुसार, चीन ने पिछले पांच वर्षों में पाकिस्तान की 81 प्रतिशत उन्नत सैन्य प्रणालियों की आपूर्ति की है, जिससे पाकिस्तान उसका सबसे बड़ा हथियार आयातक बन गया है. पाकिस्तान के सैन्य अधिग्रहण चीन के कुल हथियार निर्यात का 63 प्रतिशत है, जिसका कुल मूल्य पिछले पांच वर्षों में 5.28 बिलियन अमरीकी डॉलर रहा है.