अगर किसी आयोजन में लोग 20 हजार के महंगे जूते पहने हों और एक व्यक्ति 250 रुपये के जूते पहनकर पहुंच जाए तो अक्सर वह व्यक्ति इंफिरिटी कांप्लेक्स में ही टेंशन में आ जाता है. कई बार आयोजन छोड़कर चला जाता है लेकिन भारत का एक वीर जवान 250 रुपये के जूते पहनकर पैरालंपिक खेलों में पहुंचा था और 20 से 30 हजार के जूते पहनने वाले चीनी और यूरोपीय खिलाड़ियों को मात देकर स्वर्ण पदक जीता था. कमाल की बात अन्य खिलाड़ियों को साथ फिजियो और ट्रेनर थे जबकि भारतीय खिलाड़ी को पता ही नहीं था कि फिजियो होता क्या है. बात हो रही है भारत के रिकॉर्डधारी पैरालंपियन देवेंद्र झाझरिया की. देवेंद्र इस समय किसी पहचान के मोहताज नहीं हैं. टोक्यो पैरालंपिक में जैवलिन थ्रो यानी भाला फेंक में रजत पदक जीतने वाले देवेंद्र 2004 के एथेंस और 2016 के रियो पैरालंपिक में भी स्वर्ण पदक जीत चुके हैं. कमाल की बात दो पैरालंपिक में दो स्वर्ण पदक जीतने वाले वह पहले भारतीय पैरालंपियन हैं.#DevendraJhajharia #Defeated #Wore #20Thousand
250 रुपये के जूते पहन 20 हजार के जूते पहनने वाले को हराया था, 17 साल बाद मिली पहचान
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