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Trains में TTE नहीं कर सकता है आपका टिकट चेक, जानें Indian Railway का ये नियम

अगर सफर के दौरान आपका मन न हो तो आपको कोई भी परेशान नहीं कर सकता है. आइये हम आपको बताते हैं कि रेलवे के क्या हैं नियम...

Updated on: 06 Dec 2021, 08:27 PM

नई दिल्ली:

भारतीय रेलवे (Indian Railway) को भारत की लाइफ लाइन कही जाती है. ट्रेनों में करीब 40 करोड़ लोग प्रतिदिन यात्रा करते हैं. ट्रेनों में यात्रा के दौरान हर यात्री चाहता है कि उनका सफर आरामदायक और सुखद हो, लेकिन अक्सर देखने को मिलता है कि ट्रेनों में शोर, टिकट चेकिंग या सीट को लेकर लोगों को समस्याओं को सामना पड़ता है. अगर सफर के दौरान आपका मन न हो तो आपको कोई भी परेशान नहीं कर सकता है. आइये हम आपको बताते हैं कि रेलवे के क्या हैं नियम...

भारतीय रेलवे के नियमानुसार अगर आप यात्रा के दौरान सो रहे हैं तो टीटीई भी आपको नहीं उठा सकता है. अगर कोई यात्री सुबह से ही ट्रेन में यात्रा कर रहे हैं तो टीटीई रात 10 बजे के बाद आपको डिस्टर्ब नहीं कर सकता है. अर्थात् टीटीई रात 10 बजे के बाद यात्रियों को टिकट या आईडी दिखाने के लिए नहीं कह सकता है. 

सिर्फ सुबह 6 बजे से लेकर रात 10 बजे के बीच ही टीटीई को यात्रियों का टिकट चेक करने का अधिकार है. जो यात्री सुबह से सफर कर रहे हैं, उन्हें सोते हुए TTE भी जगा सकता है, क्योंकि TTE के पास सभी यात्रियों की लिस्ट होती है, जिसमें उन्हें पता होता है कि किस सीट पर कौन-सा यात्रा कहां-से-कहां तक का सफर कर रहा है. सुबह में ही उनकी टिकट चेक हो चुकी है. रेलवे बोर्ड की गाइडलाइन के अनुसार, अगर रात 10 बजे के बाद कोई यात्री ट्रेन में चढ़ता है तो टीटीई आकर आपका टिकट व आईडी जांच करने का अधिकार रखता है. 

इस समय मिडिल बर्थ पर सोने का है अधिकार

आप देखते होंगे कि यात्रा के दौरान अधिकांश समय कुछ ऐसे यात्री रहते हैं जो निचले बर्थ पर यात्रा कर रहे होते हैं और रात दस बजे के बाद नींद नहीं आने की बात कहकर आपस में बातचीत कर रहे होते हैं. इससे मिडिल बर्थ में आरक्षित यात्रियों को उनके इंतजार में न सिर्फ जगना पड़ता है बल्कि उनकी मेहरबानी का इंतजार भी करना पड़ता है.

रेलवे के नियमानुसार मिडिल बर्थ पर यात्रा करने वाले यात्री रात 10 बजे के बाद अपनी सीट को खोलकर सो सकते हैं. साथ ही सुबह छह बजे के बाद मिडिल बर्थ वाले यात्रियों को सीट खोल देनी है, ताकि सुबह में नीचे के यात्री अपनी सीट पर सुविधानुसार बैठकर सफर कर सकें.

टू स्टॉप का ये है रूल 

रेलवे में टू स्टॉप का भी प्रावधान है. यानी अगर कोई यात्री ट्रेन में यात्रा कर रहे हैं और अपनी सीट पर नहीं पहुंचे हैं तो TTE को ट्रेन के अगले दो स्टॉप या अगले एक घंटे के लिए किसी अन्य यात्री को आपकी सीट आवंटित नहीं कर सकता है. इसका मतलब यह है कि यात्री आपके बोडिंग स्टेशन के अगले 2 स्टेशन तक सीट पर नहीं पहुंचे तो TTE यह मान लेगा कि आरक्षित सीट का यात्री ट्रेन नहीं पकड़ पाया है और तीसरा स्टॉप पार होने के बाद TTE आपकी सीट RAC लिस्ट में दूसरे यात्री को आवंटित कर सकता है.