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उत्तराखंड मंत्रिमंडल को पृथक-वास में भेजने की जरूरत नहीं

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत तथा उनके अन्य मंत्रिमंडलीय सहयोगी अपना कार्य सामान्य रूप से करते रहेंगे और उन्हें पृथक-वास में भेजे जाने की आवश्यकता नहीं है. स्वास्थ्य सचिव ने यह जानकारी दी.

Updated on: 01 Jun 2020, 03:15 PM

देहरादून:

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत तथा उनके अन्य मंत्रिमंडलीय सहयोगी अपना कार्य सामान्य रूप से करते रहेंगे और उन्हें पृथक-वास में भेजे जाने की आवश्यकता नहीं है. स्वास्थ्य सचिव ने यह जानकारी दी. प्रदेश के पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज, उनके परिवार तथा कर्मचारी समेत 22 व्यक्तियों के कल रविवार को कोरोना संक्रमित पाए जाने के बाद प्रदेश के स्वास्थ्य सचिव अमित नेगी ने यह जानकारी दी.

महाराज ने शुक्रवार को राज्य मंत्रिमंडल की बैठक में हिस्सा लिया था जिसके बाद ऐसा माना जा रहा था कि मुख्यमंत्री रावत समेत अन्य मंत्री भी पृथक-वास में भेजे जायेंगे. नेगी ने कहा, ' कैबिनेट की बैठक में माननीय मंत्रीगण एवं अधिकारी भारत सरकार के दिशा-निर्देशो के अनुसार कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज के क्लोज कान्टेक्ट में न होने के कारण कम रिस्क वाले कान्टेक्ट के अंतर्गत आते हैं.

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वे अपना कार्य सामान्य रूप से कर सकते हैं और उन्हें पृथक-वास में भेजने की आवश्यकता नहीं है.’’ कोविड-19 के संक्रमण को रोकने के लिए भारत सरकार की निर्धारित दिशा निर्देश की जानकारी देते हुए स्वास्थ्य सचिव ने कहा कि संक्रमित व्यक्ति की कान्टेक्ट ट्रेसिंग के संबंध मे प्रावधान है कि कम रिस्क वाले कान्टेक्ट अपना कार्य पहले की तरह कर सकते हैं और 14 दिनों तक उनके स्वास्थ्य पर निगरानी रखी जाएगी.

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उन्होंने बताया कि हांलांकि, अधिक रिस्क वाले कान्टेक्ट की दशा में 14 दिन के लिए गृह पृथक-वास में भेजने तथा आईसीएमआर के प्रोटोकॉल के अनुसार टेस्ट कराये जाने का प्रावधान है. उत्तराखंड में कोरोना के बढते ग्राफ के बीच पर्यटन मंत्री महाराज, पूर्व कैबिनेट मंत्री अमृता रावत, उनके दो पुत्रों, दो पुत्र वधुओं तथा डेढ वर्षीय पोते समेत परिवार और कर्मचारियों के सदस्यों की रविवार को आयी जांच रिपोर्ट में कोरोना संक्रमण की पुष्टि से हडकंप मच गया. महाराज तथा उनके परिवार के अन्य सदस्यों को एम्स ऋषिकेश में उपचार के लिए भर्ती हैं. उधर, देहरादून में डालनवाला क्षेत्र स्थित उनके मकान और गली को पूरी तरह सील कर दिया गया है तथा उसे सेनिटाइज किया जा रहा है.