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उत्तर प्रदेश: पुलिस कस्टडी में युवक की बेरहमी से पिटाई के बाद मौत, 3 पुलिस कर्मी सस्पेंड

एसपी ने थाना प्रभारी, चौकी इंचार्ज सहित 3 पुलिसकर्मियों को सस्पेंड कर जांच के आदेश दिए हैं.

Updated on: 15 Oct 2019, 04:41 PM

नई दिल्ली:

यूपी के पिलखुआ में एक युवक की पुलिस कस्टडी में मौत हो गई जिसके बाद परिजनों ने पुलिस थाने पहुंच कर जमकर हंगामा काटा. परिजनों ने इस बात का दावा किया है कि पुलिस ने युवक को थर्ड डिग्री टॉर्चर किया है. पुलिस ने इस युवक को एक महिला की हत्या के पूछताछ में हिरासत में ले गई थी जिसके बाद. अगले दिन युवक की मेरठ मेडिकल कॉलेज में प्रदीप की मौत हो गई. इसके बाद ग्रामीणों ने गांव से लेकर मेरठ तक जमकर हंगामा किया. युवक की मौत के बाद तनाव को देखते हुए इलाके व थाने के पास सुरक्षा बलों की तैनाती की गई है. वहीं एसपी ने थाना प्रभारी, चौकी इंचार्ज सहित 3 पुलिसकर्मियों को सस्पेंड कर जांच के आदेश दिए हैं. जबकि, एडीजी प्रशांत कुमार ने आश्वासन दिया है कि पीएम रिपोर्ट आने के बाद दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी.

पिलखुवा क्षेत्र के लाखन गांव में रहने वाले राजकुमार तोमर किसान हैं. राजकुमार का बेटा प्रदीप (31 वर्ष) गार्ड की नौकरी करता था और साथ ही खेती में पिता का सहयोग करता था. मामला रविवार की रात का है जब राजकुमार का छोटा बेटा कुलदीप अपनी भाभी व भतीजों को लेकर बाइक से घर लौट रहा था. परिवारवालों ने बताया कि पिलखुवा की छिजारसी चौकी के पास पुलिसकर्मियों ने चेकिंग के इरादे से उसकी बाइक रोक ली और फोन कर चालान करने का बात बोलकर प्रदीप को पुलिस चौकी पर बुलवा लिया. परिजनों ने बताया कि पुलिस ने प्रदीप के भाई, पत्नी व बच्चों को दूसरे कमरे में बैठा दिया और प्रदीप से 30 अगस्त को हुई गौतम बुद्ध नगर में रहने वाली महिला की हत्या के बारे में पूछताछ शुरू कर दी.

पुलिस को प्रदीप पर महिला की हत्या का था शक
वह महिला प्रदीप के साले की पत्नी थी, जिस पर पुलिस को संदेह था की प्रदीप और महिला के बीच नजदीकियां थीं. इसीलिए पुलिस वालों ने प्रदीप से पूछताछ के लिए ही बुलाया था. परिजनों का आरोप है कि पुलिस ने पूछताछ के नाम पर देर रात तक प्रदीप पर थर्ड डिग्री का इस्तेमाल किया और देर रात तक उसकी पिटाई करते रहे, जिससे उसकी हालत खराब हो गई. इसके बाद पुलिसकर्मी प्रदीप को लेकर पिलखुवा के जीएस मेडिकल कॉलेज गए, जहां से उसे मेरठ मेडिकल कॉलेज के लिए रेफर कर दिया गया। जहां देर रात डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया.

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एसपी ने 3 पुलिस कर्मियों को सस्पेंड किया
प्रदीप की पुलिस के टॉर्चर की वजह से हुई मौत के बाद एसपी ने तुरंत कार्रवाई करते हुए थाना प्रभारी, चौकी इंचार्ज सहित 3 पुलिस कर्मियों को सस्पेंड कर मामले की जांच के आदेश दे दिए. एसपी की इस कार्रवाई से पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया. इस मामले में एसपी डॉक्टर यशवीर सिंह ने बताया कि 30 अगस्त को एक महिला का जला हुआ शव मिला था. इस मामले में जांच के दौरान प्रदीप का नाम सामने आने पर पुलिस ने पूछताछ के लिए उसे बुलाया था. जहां पूछताछ के दौरान उसकी हालत बिगड़ गई और उसकी मौत हो गई. उन्होंने बताया कि लापरवाही बरतने के आरोप में पिलखुवा थाना प्रभारी योगेंद्र बालियान, चौकी इंचार्ज अजब सिंह व सिपाही मनीष को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर जांच के आदेश दिए हैं.

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ग्रामीणों ने किया चौकी का घेराव
रविवार की रात को पुलिस कस्टडी में प्रदीप की मौत के बाद सोमवार की सुबह जब गांव में प्रदीप की मौत की सूचना पहुंची तब परिवार के लोग बड़ी संख्या में ग्रामीणों के साथ छिजारसी चौकी पर पहुंचें ग्रामीण यहीं पर नहीं शांत हुए उन्होंने पिलखुआ थाने पहुंच कर थाने का घेराव किया, इसके बाद ग्रामीण मेरठ पहुंचे और मामले को लेकर कमिश्नर ऑफिस के बाहर भी प्रदर्शन किया. इतनी तादात में ग्रामीणों के पहुंचने पर थोड़ी देर तक पिलखुआ बाजार भी बंद रहा.

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पुलिस वालों की दरिंदगी का वीडियो वायरल
प्रदीप के परिवारवालों का ने इस बात का दावा किया है कि पुलिस द्वारा प्रदीप से पूछताछ के दौरान थर्ड डिग्री का इस्तेमाल किया गया था, प्रदीप पुलिस की दरिंदगी को सहन नहीं कर सका जिसकी वजह से उसकी मौत हो गई. परिजनों ने बताया कि पुलिस की थर्ड डिग्री का वीडियो भी उनके पास है यह वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. इस वीडियो में आप पिलखुआ पुलिस की क्रूरता के निशान प्रदीप के शरीर पर दिखाई दे रहे हैं. पुलिस ने प्रदीप को बहुत बुरी तरह से पीटा है वीडियो देखकर किसी का भी मन व्याकुल हो सकता है, वीडियो में दिखाई दे रहा है कि पुलिस ने प्रदीप के नाजुक अंगों को भी नहीं बख्शा है.