logo-image

योगी सरकार ने जांच एजेंसी SIT का नाम बदलकर किया SSIT

यूपी की योगी सरकार (Yogi Government) ने विशेष अनुसंधान दल (SIT) का नाम बदलकर राज्य विशेष अनुसंधान दल (SSIT) कर दिया है. सीएम योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath) ने ही विशेष अनुसंधान दल के स्थान पर राज्य विशेष अनुसंधान दल यूपी किए जाने के निर्देश दिए.

Updated on: 03 Oct 2022, 08:25 PM

लखनऊ:

यूपी की योगी सरकार (Yogi Government) ने विशेष अनुसंधान दल (SIT) का नाम बदलकर राज्य विशेष अनुसंधान दल (SSIT) कर दिया है. सीएम योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath) ने ही विशेष अनुसंधान दल के स्थान पर राज्य विशेष अनुसंधान दल यूपी किए जाने के निर्देश दिए हैं. गृह विभाग ने कहा कि एसआईटी के स्थान पर अब एसएसआईटी यूपी कर दिया गया है. विशेष अनुसंधान दल का नाम इसलिए बदला गया है ताकि केंद्र और राज्य की SIT की अलग-अलग पहचान की जा सके. 

आपको बता दें कि सरकार की ओर से 16 जून 2002 को उत्तर प्रदेश में एसआईटी का गठन किया गया था. SIT को बनाने का मुख्य लक्ष्य था कि उसे बहु-अनुशासनात्मक जांच एजेंसी बनाई जा सके, जो हाईप्रोफाइल लोगों और लोक सेवकों से संबंधित केसों को सही तरीके से जांच पड़ताल कर सके. SIT सिर्फ किसी केस की जांच ही नहीं करती है, बल्कि जिस केस की जांच की है उनसे जुड़े अभियोजन और अग्रिम कार्रवाई पर निगरानी रखती है. 

राज्य विशेष अनुसंधान दल का मुख्य कार्यालय यूपी की राजधानी लखनऊ में स्थित है. डीजी स्तर के आईपीएस अफसर, जो डीजी स्तर का हो उसे SIT प्रमुख बनाया जाता है. रेणुका मिश्रा वर्तमान में एसआईटी डीजी हैं. इसके अलावा ही एसआईटी में एक डीआईजी, दो एसपी, दो एडिशनल एसपी, डिप्टी एसपी और इंस्पेक्टर तैनात होते हैं. SIT से संबंधित केसों की सुनवाई को विशेष न्यायाधीश, भ्रष्टाचार निरोधक (मध्य) लखनऊ की अदालत को अधिकार क्षेत्र दिया गया है.