मंडुवाडीह नहीं, अब कहिए बनारस रेलवे स्टेशन, इन भाषाओं में लिखा गया नाम

वाराणसी का मंडुआडीह रेलवे स्टेशन को अब बनारस नाम से जाना जाएगा स्टेशन का नया कोड BSBS होगा. प्लेटफार्म पर हिंदी, संस्कृत, अंग्रेजी और उर्दू भाषाओ में लिखा लगाया गया नया बोर्ड. बीते दिनों केंद्रीय गृह और रेल मंत्रालय ने नाम बदलने का फ़ैसला किया था.

वाराणसी का मंडुआडीह रेलवे स्टेशन को अब बनारस नाम से जाना जाएगा स्टेशन का नया कोड BSBS होगा. प्लेटफार्म पर हिंदी, संस्कृत, अंग्रेजी और उर्दू भाषाओ में लिखा लगाया गया नया बोर्ड. बीते दिनों केंद्रीय गृह और रेल मंत्रालय ने नाम बदलने का फ़ैसला किया था.

author-image
Shailendra Kumar
एडिट
New Update
Varanasi Manduwadih railway station will now be known as Banaras

वाराणसी का मंडुवाडीह रेलवे स्टेशन अब बनारस के नाम से जाना जायेगा( Photo Credit : @newsnation)

वाराणसी का मंडुआडीह रेलवे स्टेशन को अब बनारस नाम से जाना जाएगा स्टेशन का नया कोड BSBS होगा. प्लेटफार्म पर हिंदी, संस्कृत, अंग्रेजी और उर्दू भाषाओ में लिखा लगाया गया नया बोर्ड. बीते दिनों केंद्रीय गृह और रेल मंत्रालय ने नाम बदलने का फ़ैसला किया था. दरअसल, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आगमन की पूर्व संध्या पर वाराणसी को रेलवे से भी बड़ी सौगात मिली है. यहां के मंडुवाडीह स्टेशन की नई पहचान अब बनारस नाम से होगी. बुधवार को स्टेशन के प्‍लेटफार्म से लेकर मुख्य भवन पर बनारस के नाम का बोर्ड भी लग गया.

Advertisment

स्टेशन की नाम पट्टिका पर संस्कृत में भी बनारस: लिखा जा रहा है

काशी के लोगों की मांग पर स्टेशन की नाम पट्टिका पर संस्कृत में भी (बनारस:) लिखा जा रहा है. गुरुवार से जारी होने वाले टिकटों पर बनारस नाम अंकित किया जाएगा. बीते साल 17 सितंबर 2020 को राज्यपाल आनंदी बेन पटेल ने पूर्वोत्तर रेलवे के मंडुवाडीह स्टेशन का नाम बदलकर बनारस किए जाने की अनुमति दी थी. बीते दिनों केंद्रीय गृह मंत्रालय और रेल मंत्रालय ने वाराणसी के मंडुवाडीह रेलवे स्टेशन का नाम बदले का फैसला किया था. इस संबंध में सरकार के कई स्तरों पर जरूरी कार्रवाई पूरी की जा रही थी. मंडुवाडीह रेलवे स्टेशन का नाम बदलकर वाराणसी किए जाने की मांग लंबे समय से लंबित चल रही थी.

मंडुवाडीह रेलवे स्टेशन का नाम बदलने की मांग समय- समय पर उठाई जाती रही

मंडुवाडीह रेलवे स्टेशन का नाम बदलने की मांग समय- समय पर उठाई जाती रही है, लेकिन इसे मूर्तरूप देने का काम पूर्व केंद्रीय रेल राज्यमंत्री मनोज कुमार सिन्हा ने किया. उन्होंने साल 2014- 15 में रोहनिया स्थित एढे गांव में आयोजित एक जनसभा को सम्बोधित करते हुए मंडुआडीह स्टेशन का नाम बदलने का वादा किया था. मनोज सिन्हा ने इस दिशा में मंत्रालय की स्वीकृति प्रदान करने के पश्चात राज्य और केंद्र को फ़ाइल बढ़ा दिया था. कैस बनारसी फाउंडेशन और जनजागृति समिति ने भी नाम बदलने की मांग की थी.

 

HIGHLIGHTS

  • वाराणसी का मंडुवाडीह रेलवे स्टेशन अब बनारस के नाम से जाना जायेगा
  • प्लेटफार्म पर हिंदी, संस्कृत, अंग्रेजी और उर्दू भाषाओं में लिखा लगाया गया नया बोर्ड
  • राज्यपाल आनंदी बेन पटेल ने मंडुवाडीह स्टेशन का नाम बदलकर बनारस किए जाने की अनुमति दी थी
varanasi Banaras Manduwadih railway station board changed Varanasi Manduwadih railway station बनारस रेलवे स्टेशन
      
Advertisment