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उन्नाव रेप केस: सीबीआई ने दो IPS और एक IAS के खिलाफ कार्रवाई के लिए पत्र लिखा

उन्नाव रेप मामले की जांच कर रहे केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव को पत्र लिखा है और एक आईएएस (IAS) अफसर और दो आईपीएस (IPS) अफसरों के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है.

Updated on: 08 Sep 2020, 09:30 AM

उन्नाव:

उन्नाव रेप मामले की जांच कर रहे केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव को पत्र लिखा है और एक आईएएस (IAS) अफसर और दो आईपीएस (IPS) अफसरों के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है. पूर्व बीजेपी नेता कुलदीप सिंह सेंगर इस मामले में आरोपी है. घटना के वक्त आईएएस अफसर उन्नाव में डिस्ट्रिक्ट मजिस्ट्रेट के तौर पर पदस्थ थे. दो आईपीएस अफसर भी वहीं पदस्थ थे. सीबीआई ने तीनों को काम में लापरवाही का दोषी पाया है.

जांच के दौरान तीनों की भूमिका संदिग्ध पाए जाने के बाद सीबीआई ने सरकार को इनके खिलाफ कार्रवाई करने की सिफारिश की. इस मामले में मखी कोतवाली पुलिस स्टेशन का एसएचओ दोषी पाए जाने के बाद से जेल में है.

सीबीआई इसी मामले में उन्नाव के विधायक रह चुके कुलदीप सिंह सेंगर और उनके भाई समेत अन्य आरोपियों को दोषी ठहरा चुकी है. सीबीआई की चार्जशीट के आधार पर सेंगर को आजीवन कारावास की सजा भी हो चुकी है. सजा होने के कारण उनकी विधानसभा की सदस्यता भी खत्म कर दी गई थी.

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बता दें कि कुलदीप सेंगर ने साल 2017 में एक नाबालिग लड़की के अपहरण और दुष्कर्म का आरोप है. जिसके बाद जांच में लापरवाही को देखते हुए मामला सीबीआई को सौंप दिया गया था. उन्‍नाव रेप केस में दिल्ली की अदालत ने 20 दिसंबर 2019 को कुलदीप सिंह सेंगर को उम्रकैद की सजा सुनाई थी.

कोर्ट ने आजीवन कारावास की सजा के साथ सेंगर पर 25 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया था. इससे पहले सेंगर को भारतीय दंड संहिता (IPC-भादंसं) के तहत दुष्कर्म और यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (पॉक्सो) कानून के तहत किसी लोकसेवक द्वारा किसी बच्ची के खिलाफ यौन हमला किए जाने के अपराध का दोषी ठहराया था.