अर्थव्यवस्था को धीरे-धीरे फिर से खोलने के क्रम में लॉकडाउन में मिली कुछ रियायतों के बाद सोमवार से प्रदेश में शराब की दुकानें खोली गईं और खुलने से पहले ही दुकानों के बाहर लंबी-लंबी कतारें देखने को मिलीं. आबकारी विभाग को अनुमान है कि सरकार को सोमवार को पहले दिन प्रदेश की 26 हजार दुकानों से करीब 100 करोड़ रुपये का राजस्व मिलने का अनुमान है. करीब 40 दिन बाद खुलने वाली दुकानों पर लोग समय से काफी पहले ही पहुंच गए.
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राजधानी लखनऊ के साथ प्रदेश के अन्य शहरों में भी शराब की दुकानें खुलने से पहले ही उनके बाहर काफी लम्बी कतारें लग गईं. इस दौरान कई जगह पर सामाजिक दूरी की धज्जियां भी उड़ी. लोग काफी मात्रा में शराब की बोतलें खरीद रहे हैं . प्रदेश के प्रमुख सचिव (आबकारी) संजय भुसरेड्डी ने अपने अधिकारियों के साथ सुबह करीब दस बजे से ही शहर के महानगर, अलीगंज, इंदिरानगर आदि इलाकों की शराब की दुकानों का निरीक्षण किया और सभी दुकानों पर सैनेटाइजर और सामाजिक दूरी आदि की व्यवस्था को सुनिश्चित किया .
भुसरेडडी ने बताया, '' सोमवार से प्रदेश के सभी जनपदों की करीब 26 हजार शराब की दुकानें खोलने के आदेश दे दिये गये हैं. अधिकतर जनपदों में दुकानें खुल गयी और लॉकडाउन के नियमों का पालन करते हुये तथा सामाजिक दूरी और सफाई की व्यवस्था पर ध्यान देते हुये शराब की बिक्री जारी है. ऐसा अनुमान है कि पहले ही दिन सरकार को करीब 100 करोड़ का राजस्व प्राप्त होगा.''
उन्होंने बताया कि पुलिसकर्मियों को निर्देश दिये गये हैं कि वे शराब की दुकानों के बाहर भीड़ न लगने दें और सामाजिक का पालन करवायें . बंद का तीसरा चरण आज सोमवार से लागू हो गया है. इसके तहत कुछ शर्तों के साथ रेड, ऑरेंज व ग्रीन जोन में सुबह दस बजे से शाम के सात बजे तक शराब की दुकानें खोलने का प्रावधान भी है.
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लखनऊ में पॉलिटेक्निक चौराहे, चारबाग पान दरीबा, अलीगंज, गोमतीनगर, महानगर, अलीगंज, इंदिरानगर एवं ठाकुरगंज में सुबह से ही शराब की दुकानों पर काफी भीड़ देखी गई. लोग शराब की दुकान खुलने से पहले ही बाहर खड़े दिखे. सभी जगह पर दुकानों के बाहर लोगों के बीच दूरी बनाए रखने के लिए गोले बनाए गए थे.
Source : Bhasha