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आतंकियों के निशाने पर हो सकते हैं हिन्दू महासभा के नेता, जानें वजह

अखिल भारत हिन्दू महासभा  ने कहा कि आतंकियों के निशाने पर हिन्दू महासभा के नेता भी हो सकते है. उल्लेखनीय है कि वर्ष 2019 में हिन्दू महासभा नेता रहे हिन्दूवादी कमलेश तिवारी की पार्टी के प्रदेश कार्यालय में गलाकाट कर हत्या कर दी गयी थी.

Updated on: 17 Feb 2021, 06:17 PM

highlights

  • कार्यालय से चन्द दूरी पर पीएफआई सदस्यों की गिरफ्तारी ने बढ़ायी चिन्ता.
  • गुडम्बा थाना क्षेत्र में स्थित है हिन्दू महासभा प्रदेश कार्यालय.
  • प्रदेश अध्यक्ष ऋषि त्रिवेदी ने मुख्यमंत्री से की सुरक्षा की मांग.

लखनऊ:

शहर के गुडम्बा थाना क्षेत्र हिन्दू महासभा के कार्यालय से लगभग एक किलोमीटर की दूरी पर पापुलर फ्रन्ट ऑफ इण्डिया (पीएफआई) के कमाण्डर समेत दो लोगों की गिरफ्तारी को लेकर अखिल भारत हिन्दू महासभा उत्तर प्रदेश ने कुर्सी रोड स्थित पार्टी के प्रदेश कैम्प कार्यालय पर सुरक्षाकर्मियों को तैनात करने और हिन्दूवादी नेताओं की सुरक्षा देने की मांग करते हुये आशंका जतायी है. अखिल भारत हिन्दू महासभा  ने कहा कि आतंकियों के निशाने पर हिन्दू महासभा के नेता भी हो सकते है. उल्लेखनीय है कि वर्ष 2019 में हिन्दू महासभा नेता रहे हिन्दूवादी कमलेश तिवारी की पार्टी के प्रदेश कार्यालय में गलाकाट कर हत्या कर दी गयी थी. यही नहीं बल्कि हिन्दुत्व के लिये कार्य कर रहे हिन्दूवादी नेताओं को बराबर धमकियां भी मिलती रहीं है.

 त्रिवेदी ने बताया कि बीते कुछ महीने से कुर्सी रोड स्थित गुडम्बा थाना के अन्तर्गत हिन्दू महासभा के प्रदेश कैम्प कार्यालय में पार्टी की गतिविधियां काफी बढ़ी है, और हिन्दुत्ववादी मुद्दे पर निरन्तर कार्यक्रम आयोजित किये जा रहे है, जिसको लेकर इस आशंका को बल मिलता है कि पकड़े गये इन आतंकियों के निशाने पर हिन्दू महासभा का प्रदेश कैम्प कार्यालय और हिन्दूवादी नेता भी हो सकते है. पीएफआई के सदस्यों के पकड़े जाने की खबर आने के बाद आज सुबह से ही पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष ऋषि त्रिवेदी पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के साथ पार्टी कार्यालयों और हिन्दू महासभा नेताओं की सुरक्षा को लेकर बैठक की. बैठक के बाद निर्णय लेते हुये उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को आज ही पत्र लिखकर हिन्दूवादी नेताओं को सुरक्षा उपलब्ध कराने की मांग की है.

इस्लामिक कट्टरपंथ से भारत ही नहीं दुनिया में भी लगातार खतरा बढ़ा है. PFI के देशभर में आतंकी हमले की साजिश बेनकाब हो चुकी है. कल भी दो अहम गिरफ्तारियां हुई हैं. साफ है कट्टरपंथी अपने नापाक मंसूबों से देश में आतंकी हलमे की कोशिश करते रहे हैं. फ्रांस ने इस्लामिक कट्‌टरवाद के खिलाफ एक बड़ा कदम उठाते हुए एक बिल को मंजूरी दे दी है. जिसमें इस्लामिक कट्टपंथ पर लगाम लग सके. बिल फ्रांस की धर्मनिरपेक्ष परंपराओं को कमजोर करने वालों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की इजाजत देता है. तो क्या भारत को भी इसी तरह इन कट्टरपंथियों पर लगाम लगानी चाहिए ताकि देश में सुरक्षा का माहौल सुधरे.