उत्तर प्रदेश के प्राइवेट स्कूल इस शैक्षिक सत्र में अपनी फीस नहीं बढ़ा सकेंगे. वहीं जिन स्कूलों ने फीस बढ़ा दी है उन्हें अपना ये आदेश वापस लेना होगा. उप मुख्यमंत्री दिनेश शर्मा ने इस बारे में जानकारी दी है. दरअसल कोरोना संकट के चलते राज्य सरकार ने अभिभावकों को राहत देने के लिए ये कदम उठाया है. ये फैसला आईसीएससी, सीबीएसई और अन्य बोर्ड के स्कूलों पर लागू होगा. माध्यमिक शिक्षा विभाग की प्रमुख सचिव आराधना शुक्ला ने आदेश जारी किया है कि बेसिक शिक्षा परिषद, केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा परिषद (सीबीएसई) भारतीय माध्यमिक शिक्षा परिषद (आईसीएसई), इंटरनेशनल बेक्कलॉरेट (आईबी) और इंटरनेशनल जनरल सर्टिफिकेट आफ सेकेंडरी एजुकेशन (आईजीसीएसई) के स्कूल 2020–21 के सत्र में फीस नहीं बढ़ाएंगे.
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वहीं दूसरी तरफ उत्तर प्रदेश में कोरोना वॉरियर्स पर हमला अब दंडनीय अपराध (punishable crime) होगा. योगी सरकार ने एपेडिमिक एक्ट (महामारी कानून) में संशोधन किया है. प्रदेश सरकार ने उत्तर प्रदेश महामारी कोविड-19 (Covid19) विनियमावली में संशोधन करते हुए इसे दंडनीय अपराध बना दिया है. एपिडेमिक एक्ट के संशोधन को मंजूरी मिल गई है. राज्यपाल की मंजूरी के बाद चिकित्सा विभाग ने अधिसूचना जारी की. उत्तर प्रदेश महामारी कोविड-19 (Coronavirus (Covid-19), Lockdown Part 2 Day 1, Lockdown 2.0 Day one, Corona Virus In India, Corona In India, Covid-19) (प्रथम संशोधन) विनियमावली 2020 की जारी की गई अधिसूचना.
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सरकारी संपत्ति को भी नुकसान पहुंचाने का मामला कानूनी अपराध
30 जून 2020 या अगले आदेश तक विनियमावली संशोधन को प्रभावी किया गया है. कोरोना वॉरियर्स पर हमले के मामलों को एपिडेमिक एक्ट के तहत अब यूपी में अपराध माना जाएगा. डॉक्टर्स, मेडिकल स्टाफ और पुलिसकर्मियों पर हमला अब एपिडेमिक एक्ट के तहत कानूनी अपराध होगा. अब एम्बुलेंस या अन्य सरकारी संपत्ति को भी नुकसान पहुंचाने का मामला कानूनी अपराध की श्रेणी में होगा.
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Source : News Nation Bureau