logo-image

यूपी में बन रहे नए सियासी समीकरण, ओवैसी और ओमप्रकाश राजभर के बीच हुई मुलाकात

यूपी में साल 2022 में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर राजनीतिक दल सक्रिय हो रहे हैं. इसके मद्देनजर ओवैसी और ओमप्रकाश राजभर के बीच लखनऊ में एक बैठक हो रही है.

Updated on: 16 Dec 2020, 12:47 PM

लखनऊ:

यूपी में साल 2022 में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर राजनीतिक दल सक्रिय हो रहे हैं. इसके मद्देनजर ओवैसी और ओमप्रकाश राजभर के बीच लखनऊ में एक बैठक हो रही है. दोनों नेताओं ने 2022 में दूसरे कई छोटे दलों के नेताओं के साथ मिलकर और गठबंधन करके 2022 में भागीदारी संकल्प मोर्चा के बैनर तले चुनाव लड़ने का फैसला किया है, राजभर और ओवैशी ने अपने गठबंधन को वोट कटवा कहने वालों को आड़े हाथ लिया और कहा कि वो चुनाव जीतने के लिए लड़ है हैं, ना कि वोट काटने के लिए.

बिहार चुनाव में जीत मिलने के बाद अब ओवैसी की पार्टी उत्साहित है. उसने अब यूपी में भी ताल ठोकने की तैयारी कर ली है. असदुद्दीन ओवैसी ने ओमप्रकाश राजभर से मुलाकात के बाद उन्हें अपना बड़ा भाई बताया. ओवैसी ने कहा कि जनवरी में हम मीटिंग शुरू करेंगे. ओवैशी ने इस मौके पर शिवपाल यादव की भी तारीफ की और उन्हें बड़ा नेता बताया और शिवपाल से भी मिलने की बात कही. 

ओवैसी ने कहा कि हमने बंगाल में कमेटी बनाई है और उनसे बात करके हम आगे की रणनीति तय करेंगे. ममता बनर्जी हम पर BJP से पैसा लेने का आरोप लगा रही हैं, जबकि वो खुद अटल बिहारी वाजपेयी के साथ थी, जब गुजरात मे दंगा हुआ. उन्होंने कहा कि ओवैशी को खरीदने वाला कोई पैदा नहीं हुआ. उनका सामना अभी सच्चे मुसलमान से नहीं हुआ है. बिहार में गठबंधन की हार के लिए हमको जिम्मेदार बताकर वो उन लोगों का अपमान कर रही हैं, जिन्होंने हमको वोट दिया.   

गौरतलब है कि राजभर ने सरकार की नीतियों का विरोध करने के लिए जनभागीदारी संकल्प मोर्चा का गठन किया है. यही नहीं, प्रगतिशील समाज पार्टी के अध्यक्ष शिवपाल सिंह यादव से आज मुलाकात प्रस्तावित है. जनभागीदारी मोर्चे में बाबूराम कुशवाहा की जन अधिकार पार्टी, राष्ट्रीय उदय पार्टी, राष्ट्रीय उपेक्षित समाज पार्टी और जनता क्रांति पार्टी शामिल है. इसके अलावा बहुजन समाज पार्टी के महासचिव सतीश चन्द्र मिश्रा से मिलने का कार्यक्रम है.