उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने अयोध्या में रामलला की विराट मूर्ति बनवाने की बात कही है. इससे पहले प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा था, ‘अयोध्या के बारे में जल्द ही कोई नई खुशखबरी सुनने को मिलेगी.’ माना जा रहा है कि उनका इशारा इसी तरफ था. योगी के बयान के बाद पिछले करीब एक हफ्ते से प्रदेश के राजनीतिक हलकों में यह सरगर्मी थी कि योगी सरकार राम मंदिर को लेकर कोई बड़ा कदम उठाने जा रही है. केशव प्रसाद मौर्य के बयान को इसी से जोड़कर देखा जा रहा है. हालांकि जानकारों का मानना है कि जब तक प्रदेश सरकार का आधिकारिक बयान नहीं आ जाता, तब तक इस पर कुछ कहा नहीं जा सकता.
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Ram temple matter is sub-judice before SC, we can't do anything about it, but no one is stopping us from erecting a grand statue of 'Ram Lalla' in Ayodhya. If someone stops us we'll see...No one can stop us from developing Ayodhya: UP Dy CM KP Maurya on lord Ram statue in Ayodhya pic.twitter.com/BhgcMhgV9D
— ANI UP (@ANINewsUP) November 3, 2018
केशव प्रसाद मौर्य ने शनिवार को कहा, ‘राम मंदिर का मुद्दा तो सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन है. जब तक कोर्ट का फैसला नहीं आ जाता, हम उसमें कुछ नहीं कर सकते. लेकिन हमें अयोध्या में रामलला की विराट मूर्ति स्थापित कराने से कोई नहीं रोक सकता. अगर कोई इसके खिलाफ सामने आता है तो हम उसे देख लेंगे. कोई हमें अयोध्या का विकास कराने से नहीं रोक सकता.’
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केशव प्रसाद के इस बयान के कई मायने निकाले जा रहे हैं. पहले बीजेपी सांसद राकेश सिन्हा ने प्राइवेट मेंबर बिल लाने की बात कही और राहुल गांधी सहित कई नेताओं को समर्थन करने की चेतावनी दे दी. उसके बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कुछ अच्छा और बड़ा करने का संकेत दिया. शुक्रवार को अमित शाह के साथ आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत की बैठक के बाद भैयाजी जोशी ने अध्यादेश लाने की बात को लेकर केंद्र सरकार को अल्टीमेटम दे दिया और 1992 जैसा आंदोलन करने की बात कही. शनिवार को राम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष रामविलास वेदांती ने कहा, दिसंबर से राम मंदिर के निर्माण का कार्य प्रारंभ हो जाएगा. यह किसी अध्यादेश की बदौलत नहीं, बल्कि आपसी समझौते के तहत होगा. उन्होंने कहा, ‘समझौते के तहत अयोध्या में मंदिर और लखनऊ में मस्जिद बनेगा.’
Source : ANI