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दहेज के लालच में पत्नी की हत्या के दोषी पति और सास को 10 साल की सजा

शादी के बाद गीता का पति, उसकी ननद और सास उसे और दहेज लाने के लिए प्रताड़ित करने लगे थे.

Updated on: 08 Feb 2020, 11:09 AM

मथुरा:

उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के मथुरा जनपद की महिलाओं के विरुद्ध अपराध मामलों की सुनवाई करने वाली फास्ट ट्रैक अदालत ने शुक्रवार को दहेज के लिए पत्नी का उत्पीड़न करने और जहर देकर हत्या करने वाले पति और उसकी मां को दस-दस साल की सख्त सजा और छह हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई है. वहीं मामले में आरोपी महिला की ननद को बरी कर दिया गया.

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सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता (13) भगतसिंह आर्य ने बताया कि सदर बाजार निवासी महेंद्र ने थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि उसकी बहन गीता (24) की शादी चार साल पहले सिविस लाइंस निवासी रवि उर्फ रवींद्र नेगी से हुई थी और उस वक्त भरपूर दहेज भी दिया गया था. लेकिन शादी के बाद गीता का पति, उसकी ननद और सास उसे और दहेज लाने के लिए प्रताड़ित करने लगे.

महेंद्र का आरोप है कि पिछले साल दो जून को खबर मिली कि उसकी बहन को कोई जहरीला पदार्थ दिया गया और ससुराल के लोग उसे लाइफ लाइन अस्पताल में भर्ती कर भाग गए हैं. उसने बताया कि वह जब अस्पताल पहुंचा तो उसे वहां गीता मृत मिली जिसके बाद उसने थाने में जाकर सभी के खिलाफ मुकदमा दर्ज करवाया.

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अधिवक्ता (13) भगतसिंह आर्य ने बताया, 'अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश जहेंद्र पाल सिंह ने गवाहों के बयान, अभियोजन द्वारा पेश किए गए साक्ष्यों और दोनों पक्षों की दलीलों की सुनवाई के बाद शुक्रवार को पति और सास को दोषी करार देते हुए दस-दस वर्ष का कठोर कारावास और छह-छह हजार रुपए का अर्थदण्ड दिया जबकि ननद ज्योति को बरी कर दिया.'

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