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राजकीय आश्रम पद्धति विद्यालयों की बदलेगी सूरत, लखनऊ में बनेंगे ट्राइबल म्यूजियम: रमापति शास्त्री

उत्तर प्रदेश समाज कल्याण मंत्री रमापति शास्त्री ने कहा कि प्रदेश के 20 जिलों में विभाग की ओर से सभी सुविधाओं से लैश राजकीय आश्रम पद्धति विद्यालयों का निर्माण कराया जा रहा है. यहां पर स्मार्ट क्लास, कंप्यूटर प्रोजेक्टर आदि की भी व्यवस्था होगी.

Updated on: 17 Dec 2020, 02:53 PM

लखनऊ :

उत्तर प्रदेश समाज कल्याण मंत्री रमापति शास्त्री ने कहा कि प्रदेश के 20 जिलों में विभाग की ओर से सभी सुविधाओं से लैश राजकीय आश्रम पद्धति विद्यालयों का निर्माण कराया जा रहा है. यहां पर स्मार्ट क्लास, कंप्यूटर प्रोजेक्टर आदि की भी व्यवस्था होगी. यह जानकारी लोकभवन के मीडिया सेंटर में आयोजित पत्रकार वार्ता में समाज कल्याण मंत्री रमापति शास्त्री ने दी. उन्होंने कहा कि समाज कल्याण विभाग प्रदेश के सबसे नीचे पायदान पर खड़े लोगों को ऊपर लाने का काम कर रहा है. लखनऊ ट्राइबल म्यूजियम की स्थापना भी जल्द की जाएगी.

रमापति शास्त्री ने कहा कि वृद्धावस्था पेंशन, मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना, अनुसूचित जाति/जनजाति व सामान्य वर्ग को स्कॉलरशिप देने का काम हो रहा है. मुख्यमंत्री के निर्देशन में योजनाओं का पूरी पारदर्शिता से हर पात्र को शतप्रतिशत लाभ पहुंचाने का काम विभाग कर रहा है. रमापति शास्त्री ने कहा कि प्रदेश में 103 राजकीय आश्रम पद्धति विद्यालयों का संचालन किया जा रहा है. इसमें से 49 सीबीएसई बोर्ड व 54 यूपी बोर्ड से सम्बद्ध हैं. वित्तीय वर्ष 2016-17 में यहां से 32616 छात्र पंजीकृत हुए थे, 2019-20 में बढ़ कर 34281 हो गए.

समाज कल्याण विभाग की ओर से गोरखपुर में सिविल सेवा की तैयारी के लिए 8 करोड़ साढ़े 71 लाख रुपए से कोचिंग सेंटर का निर्माण कार्य कराया जा रहा है, जो 2021-22 से संचालित हो जाएगा. रमापति शास्त्री ने बताया कि प्रदेश में अनुसूचित जाति/जनजाति और सामान्य वर्ग के विद्यार्थियों के सिविल सेवा की तैयारी के लिए सात कोचिंग सेंटर चलाए जा रहे हैं. इन सेंटरों से 51 अभ्यर्थी आईएएस व पीसीएस परीक्षा और 438 अभ्यर्थी अन्य सेवाओं में चयनित हुए हैं।

समाज कल्याण मंत्री रमापति शास्त्री ने बताया कि पूर्वदशम तथा दशमोत्तर अनुसूचित जाति/जनजाति व सामान्य वर्ग के छात्रों की वार्षिक आय सीमा 2 लाख से बढ़ाकर ढ़ाई लाख रुपए कर दी गई है. कक्षा 9 व 10 में अध्ययनरत अनुसूचित जाति/जनजाति व सामान्य वर्ग के छात्रों को पहले वार्षिक छात्रवृत्ति 2250 रुपए दी जाती थी, जो अब बढ़ाकर तीन हजार रुपए की गई है. वहीं, वृद्धा पेंशन योजना में 60 से 79 वर्ष की आयु के लाभार्थियों की मासिक पेंशन 400 रुपए से बढ़ा कर 500 रुपए कर दी गई है. रमापति शास्त्री ने बताया कि 2017 में वृद्धावस्था पेंशन 36 लाख 53 हजार लाभार्थियों को दी जाती थी, जो साल 2020-21 में 51 लाख 21 हजार हो गई है. पेंशनरों की संख्या में 14 लाख 68 हजार की वृद्धि हुई है. रमापति शास्त्री ने बताया कि समाज में सर्वधर्म और सामाजिक समरसता को बढ़ावा के लिए शुरू की गई मुख्ममंत्री सामूहिक विवाह योजना के तहत अब 1,05,427 जोड़ों का विवाह कराया जा चुका है.

रमापति शास्त्री ने बताया कि 2016-17 तक माता पिता एवं वरिष्ठ नागरिकों का भरण पोषण तथा कल्याण नियमावली की व्यवस्था के तहत 22 जिलों में वृद्धाश्रम का संचालन किया जा रहा था. मुख्यमंत्री के निर्देशन में शेष 53 जिलों में वृद्धाश्रम की स्थापना व संचालन शुरू कर दिया गया है. अनुसूचित जाति वित्त एवं विकास निगम के अध्यक्ष लालजी निर्मल ने बताया कि स्वरोजगार योजना के जरिए चार सालों में 1,07,772 लोगों को 107.72 करोड़ रुपए अनुदान व 462.54 करोड़ रुपए ब्याज मुक्त ऋण दिलाकर वित्त पोषित किया गया, ताकि वह अपने उद्योग लगाकर आत्मनिर्भर भारत का हिस्सा बन सकें.