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मैंगलोर जाने को लेकर पूर्व सीएम सिद्धारमैया को नोटिस, बोले- हमें कानून न सिखाए बीजेपी

सिद्धारमैया की प्रस्‍तावित यात्रा को लेकर बेंगलुरू (Banglore) के पुलिस आयुक्त भास्‍कर राव ने उन्‍हें नोटिस जारी किया है. नोटिस में कहा गया है कि शहर में उनके प्रवेश से कानून व्यवस्था बिगड़ सकती है.

Updated on: 21 Dec 2019, 01:25 PM

नई दिल्‍ली:

नागरिकता संशोधन कानून (Citizenship AMendment Act 2019) पर देश भर में मची रार और कर्नाटक (Karnataka) के मंगलोर में मचे बवाल के बीच पूर्व मुख्‍यमंत्री सिद्धारमैया (Sidharamaiya) ने मैंगलोर (Manglore) जाने का फैसला किया है. उनकी प्रस्‍तावित यात्रा को लेकर बेंगलुरू (Banglore) के पुलिस आयुक्त भास्‍कर राव ने उन्‍हें नोटिस जारी किया है. नोटिस में कहा गया है कि शहर में उनके प्रवेश से कानून व्यवस्था बिगड़ सकती है. नोटिस के जवाब में सिद्धारमैया ने मीडिया से बातचीत में बताया, नोटिस के अनुसार मैं ट्रेन, बस या कार से मैंगलोर नहीं जा सकता. मुझे नहीं पता कि राज्य में या केंद्र में लोकतंत्र (Democracy) है या नहीं. अगर स्थिति उनके लिए अनुकूल है, तो मेरे लिए क्यों नहीं. लोगों को भड़काने के लिए हम वहां नहीं जा रहे हैं. हमें बीजेपी (BJP) से कानून-व्यवस्था को लेकर सीख लेने की जरूरत नहीं है.

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उधर, बेंगलुरू के पुलिस आयुक्त भास्कर राव ने नागरिकता अधिनियम को लेकर विरोध प्रदर्शन पर कहा, एसजे पार्क पुलिस स्टेशन और उल्सूर गेट पुलिस स्टेशन में 8 मामले दर्ज किए गए हैं. भास्‍कर राव ने कहा, अभी तक हमारे पास इसे बढ़ाने की कोई योजना नहीं है लेकिन हम शाम को हालात का अध्‍ययन करेंगे. ये ऐसी चीजें हैं, जहां हमें तत्काल फैसले लेने की जरूरत है.

इससे पहले 19 दिसंबर को मैंगलोर में लोगों ने नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ हिंसक प्रदर्शन किया था. भीड़ पर काबू पाने के लिए पुलिस को आंसू गैस के गोले छोड़ने पड़े. मैंगलोर में दो प्रदर्शनकारियों की मौत हो गई. घटना के बाद मैंगलोर में शुक्रवार को स्कूल और कॉलेज बंद कर दिए गए. मृतकों के नाम जलील (49) और नौसीन (23) है.

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वहां के पुलिस कमिश्‍नर के अनुसार, प्रदर्शनकारियों ने पुलिस थाने पर हमला बोला और आग लगा दी. अंत में पुलिस ने पहले हवा में गोली चलाई गई. इसके बाद भी प्रदर्शनकारी हमले करते रहे तो पुलिस ने पांच पुलिस थाना क्षेत्रों में धारा 144 लागू कर दिया था.