/newsnation/media/post_attachments/images/2022/07/15/karnata-cm-48.jpg)
सीएम बसवराज बोम्मई( Photo Credit : फाइल फोटो)
कर्नाटक की बीजेपी सरकार ने शुक्रवार को एक आदेश जारी कर प्रदेश के सभी सरकारी दफ्तरों में आम लोगों के द्वारा फोटोग्राफी और वीडियोग्राफी करने पर रोक लगा दी है. आदेश में कहा गया है कि जो भी लोग सरकारी दफ्तरों में जाते हैं, वह बिना इजाजत दफ्तर में फोटो या वीडियो नहीं खींच सकते हैं. दरअसल, कर्नाटक की स्टेट गवर्नमेंट एम्प्लाइज एसोसिएशन ने राज्य सरकार को एक चिट्ठी लिखी थी और कहा था कि कुछ लोग सरकारी दफ्तरों में आकर फोटो और वीडियो खींच कर उन्हें तंग किया जाता है. लिहाजा, फोटोग्राफी और वीडियोग्राफी पर प्रतिबंध लगाने की जरूरत है.
डिपार्टमेंट ऑफ पर्सनल एंड एडमिनिस्ट्रेटिव रिफार्म्स यानी डीपीएआर ने शुक्रवार को इस चिट्ठी का हवाला देते हुए कहा कि इस चिट्ठी में जो बातें लिखी गई हैं वो जायज लग रही है और उस के मद्देनजर राज्य के सभी सरकारी दफ्तरों में जो आम लोग किसी काम के सिलसिले में आते हैं, वह वीडियोग्राफी और फोटोग्राफी नहीं कर सकते हैं.
डीपीएआर के इस आदेश से कई समाज सेवी संगठन और भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई लगने वाले सामाजिक कार्यकर्ता नाराज है और इस आदेश को गलत बताते हुए कहा कि यह आदेश गैरकानूनी है. इनके मुताबिक सरकार के ऐसे आदेश भ्रष्टाचार को बढ़ावा दे सकते हैं. वहीं, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने भी इस आदेश की आलोचना की है और कहा कि सरकार इस आदेश के जरिए अपनी नाकामियों को छुपाने की कोशिश कर रही है और सरकारी कर्मचारी संघ की चिट्ठी के आड़ में अपने भ्रष्टाचार को छुपाने की कोशिश कर रही है.
Source : Yasir Mushtaq