कर्नाटक में संकट में घिरी जद (एस) और कांग्रेस की गठबंधन सरकार की हालत सोमवार को तब और ज्यादा खराब हो गई, जब निर्दलीय विधायक और लघु उद्योग मंत्री एच. नागेश और केपीजेपी के एकमात्र विधायक और सरकार में मंत्री आर. शंकर ने मंत्री पद से इस्तीफा देकर 13 महीने पुरानी गठबंधन सरकार से अपना समर्थन वापस ले लिया. उधर सरकार बचाने के लिए जद (एस) और कांग्रेस ने बागियों को मंत्री पद की पेशकश की है जिसे कथित तौर पर उन्होंने ठुकरा दिया है.
संकट में घिरी कर्नाटक सरकार को लेकर जहां बेंगलुरु में लगातार कांग्रेस और जेडीएस के बीच बैठकें हो रही हैं, वहीं बीजेपी अपनी सरकार बनाने की कोशिश कर रही है. इस बीच मुख्यमंत्री कुमारस्वामी को थोड़ी राहत देने वाली खबर सामने आई है. बताया जा रहा है कि स्पीकर केआर रमेश कुमार ने सभी बागी विधायकों के इस्तीफे को लेने से नामंजूर कर दिया है.
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बता दें कि इस्तीफे से पहले 225 सदस्यीय विधानसभा में गठबंधन के पास 118 विधायकों का समर्थन था, यह बहुमत के आंकड़े 113 से पांच ज्यादा है. इनमें विधानसभा अध्यक्ष को छोड़कर 78 कांग्रेस के, जद (एस) के 37 और बसपा एवं कर्नाटक प्रज्ञंयवंता जनता पार्टी (केपीजेपी) के एक-एक और एक निर्दलीय विधायक शामिल थे.
गठबंधन सरकार में 34 सदस्यीय मंत्रिमंडल में कांग्रेस से 22, जद (एस) से 10, केपीजेपी के एक और एक निर्दलीय विधायक शामिल थे. राज्य विधासभा का 10 दिवसीय मॉनसून सत्र 12 जुलाई से शुरू होने वाला है.