मौलवी अत्याचार से तंग आकर लिया फैसला, शरीफ खान से बने शुभम अग्रवाल

मौलवी अत्याचार से तंग आकर बने हिंदू, पीड़ित ने अपनाया सनातन धर्म. अजमेर के मोहम्मद शरीफ खान बने शुभम अग्रवाल. बेटा भी बना सनातनी.

मौलवी अत्याचार से तंग आकर बने हिंदू, पीड़ित ने अपनाया सनातन धर्म. अजमेर के मोहम्मद शरीफ खान बने शुभम अग्रवाल. बेटा भी बना सनातनी.

author-image
Mohit Saxena
New Update
ajmerajmer muslim turn hindu

ajmer (social media)

राजस्थान के अजमेर जिले के खानपुरा क्षेत्र के रहने वाले एक पिता पुत्र ने कथित मौलवी से परेशान होकर सनातन धर्म को अपना लिया है. अब वह रोजाना मंदिर में जाकर भगवान की पूजा अर्चना कर रहे हैं. कथित मौलवी के अत्याचार और परिवार पर गलत प्रभाव डालने के आरोपों से परेशान एक मुस्लिम पिता-पुत्र ने सनातन धर्म को अपनाने का निर्णय लिया है. खानपुरा निवासी शरीफ खान अब शुभम अग्रवाल बन चुके हैं. वहीं उनके बेटे अमन खान ने अपना नाम बदलकर अमन अग्रवाल रखा है. 

Advertisment

हमारे पूरे परिवार को तोड़ने का प्रयास हो रहा था

शरीफ खान के अनुसार, खानपुरा स्थित आजाद नगर मस्जिद में कथित मौलवी ने उनकी पत्नी और बेटी को अपने प्रभाव में लेने की कोशिश की. शरीफ का आरोप की मौलवी की हरकतों के कारण उनका परिवार बिखरने की कगार पर आ गया. उन्होंने कहा कि हमारे पूरे परिवार को तोड़ने का प्रयास हो रहा था. इसे देखकर हमें यह महसूस हुआ कि अब इस्लाम धर्म में रहना सही नहीं है. 

समाज में हमारे के लिए कोई जगह नहीं है

शरीफ खान का आरोप है कि जब वे अपने समाज के सदस्यों से सहायता मांगने के लिए गए तो किसी ने भी उनका साथ नहीं दिया. उन्होंने कहा कि हमने समाज से मदद की उम्मीद लगाई थी. मगर किसी ने भी साथ नहीं दिया. इससे हमें महसूस हुआ कि समाज में हमारे के लिए कोई जगह नहीं है. शरीफ खान के अनुसार,हमेशा से वे  हिंदू धर्म से प्रभावित रहे हैं. उन्होंने कहा, "हिंदू धर्म में न केवल आत्मिक शांति है, बल्कि काफी सहयोग भी मिलता है. उन्होंने आगे बताया कि जिस समय वह मुश्किल समय से गुजर रहे थे, तब हिंदू समाज के लोगों ने उनकी सहायता की. उन्होंने बेटे से मिलकर सनातन धर्म को अपनाने का फैसला लिया. 

अब धर्म परिवर्तन के बाद शुभम अग्रवाल और बेटे अमन अग्रवाल का कहना है कि अब वे पूरी श्रद्धा और आस्था के साथ सनातन धर्म का पालन करने वाले हैं. वे रोजाना पूजा-अर्चना करेंगे और भक्ति भाव से जीवन को बिताएंगे. उन्होंने कहा कि अब वे अपने जीवन को भगवान की भक्ति में समर्पित करेंगे. यह घटना उन लोगों के लिए एक संदेश की तरह है जो धार्मिक कट्टरता और सामाजिक दबाव की वजह से मानसिक और भावनात्मक पीड़ा झेलते हैं. 

Newsnationlatestnews newsnation NewsNation Conclave Ajmer
      
Advertisment