राजस्थान में राजयसभा का रण: बाड़ेबंदी फेल, बढ़ रही है विधायको की नाराजगी

राजस्थान में राज्यसभा चुनावों में बाडेबंदी की शुरुवात के साथ ही अब खरीद फरोख्त और जासूसी के आरोप लग रहे हैं. कांग्रेस ने उदयपुर में अपने विधायकों की किलेबंदी कर दी है वहीँ भाजपा प्रक्षिशन के नाम पर एक दो दिन में अपने विधायकों की बाड़ेबंदी करेगी

राजस्थान में राज्यसभा चुनावों में बाडेबंदी की शुरुवात के साथ ही अब खरीद फरोख्त और जासूसी के आरोप लग रहे हैं. कांग्रेस ने उदयपुर में अपने विधायकों की किलेबंदी कर दी है वहीँ भाजपा प्रक्षिशन के नाम पर एक दो दिन में अपने विधायकों की बाड़ेबंदी करेगी

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Mohit Sharma
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Congress ( Photo Credit : FILE PIC)

राजस्थान में राज्यसभा चुनावों में बाडेबंदी की शुरुवात के साथ ही अब खरीद फरोख्त और जासूसी के आरोप लग रहे हैं. कांग्रेस ने उदयपुर में अपने विधायकों की किलेबंदी कर दी है वहीँ भाजपा प्रक्षिशन के नाम पर एक दो दिन में अपने विधायकों की बाड़ेबंदी करेगी . मगर इस बीच भाजपा विधायक मदन दिलावर ने गहलोत सरकार पर विधायकों की जासूसी के भी संगीन आरोप लगा दिए हैं. वहीँ दूसरी ओर कांग्रेस अपना कुनबा संभालने में भी फेल होती नज़र आ रही है. निर्दलीय विधायकों के बाद राज्य सरकार ने राज्यमंत्री राजेन्द्र गुडा ने भी सीएम अशोक गहलोत और अजय माकन को लेकर अपनी नाराजगी जताई है.पेश है एक रिपोर्ट

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राज्यसभा चुनावों को लेकर 126 विधायकों का दावा करने वाली कांग्रेस मानों इन दिनों अपने कुनबे को ही संभालने में नाकाम साबित हो रही है. बसपा से कांग्रेस में शमिल हुए गहलोत सरकार में राज्यमंत्री राजेन्द्र गुडा ने सीएम पर ही हमला बोलते हुए कहा की सीएम साहब बोलते बहुत ही ज्यादा है हमारे साथ बैठकर चिंता करते तो ज्यादा बेहतर होता. गुडा ने कहा की उदयपुर बंद होने के लिए अच्छी जगह नहीं है हम तो पिछली बार भी खुले में घूम रहे थे. वहीँ उन्होंने राजस्थान कांग्रेस के प्रभारी अजय माकन पर भी कमिटमेंट पूरा नहीं करने का आरोप लगाया है. वहीँ विधायक वाजिब अली भी गुडा के साथ स्वर से स्वर मिलाते नज़र आये. राजनीती में कोई जूनियर सीनियर नहीं होते.  लेकिन मेरा मानना है की राजनीती में जो कमिटमेंट हो, वह पूरा होना चाहिए. हमारे प्रभारी अजय माखन जी ने अपना कमिटमेंट पूरा नहीं किया यह भी सही है.

देने वालो की भी बड़ी नज़ारे होती है. जो काबिल लगे उन्हें सीएम साहब ने एडजस्ट किया. जनता ने जो हमें जिम्मेदारिया दी है उसे निभा रहे हैं. हमें जनता ने अपना ट्रस्टी बनाकर विधानसभा में भेजा है ताकि उनकी बात रखे. जहाँ तक अफसरशाही को लेकर जो शिकायत है. अफसरशाही में कमजोरी की वजह से जो जनकल्याणकारी योजनायें है वह सही नहीं हो पा रही है. अवैध खनन और कानून व्यवस्था को लेकर कई पत्र लिखे पता नहीं वह कहाँ गए. बाडेबंदी में भी जायेंगे लेकिन अभी वोटिंग को बहुत वक़्त है.

लेकिन यह तस्वीर अरावली मेंशन की है जहाँ सरकार ने विधायकों को आवास उपलब्ध करवाए हैं. रामगंज मंडी से भाजपा विधायक पुलिसकर्मियों से उलझते नज़र आ रहे हैं और कह रहे हैं की आप  बिना अनुमति के विधायक आवास परिसर में कैसे प्रवेश कर सकते हैं. विधायक दिलावर ने गहलोत सरकार पर विधायकों की जासूसी के आरोप लगाया है. आरोप है की ना केवल सादी वर्दी में बल्कि पुलिस की वर्दी में भी विधायकों पर जासूसी कारवाकर उनका जीना दूभर किया जा रहा है. वहीँ भाजपा के प्रदेश मुख्य प्रवक्ता का कहना है की कांग्रेस की बाढ़ेबंदी में सभी विधायक नहीं पहुंचे हैं कोई सरिस्का में सफारी कर रहा है तो कोई बीमार है ऐसे में कांग्रेस की बाढ़ेबंदी फेल हो चुकी है ऐसे में विधायकों को डराने, धमकाने और जासूसी से परेशान किया जा रहा है.

हालाँकि भाजपा के आरोपों को कांग्रेस की ओर से सिरे से ख़ारिज किया जा रहा है. किसान कल्याण बोर्ड के अध्यक्ष कांग्रेस के रामेश्वर ढूढि ने कहा है की कांग्रेस अपने विधायकों के घर पुलिस का पहरा अनहि लगाती इस तरह के हथकंडे बीजेपी ही अपनाती है . वहीँ कांग्रेस के लिए कुछ राहत की बात यह है की उसके खेमे में कुछ और विधायकों के बाढ़ेबंदी में जाने का सिलसिला जारी है. सचिन पायलेट, जोगिन्दर सिंह अवाना सहित कई विधायक आज उदयपुर के लिए निकल पड़े. मगर इस बीच गहलोत की चिंता बढाई सरिस्का से आने वाली विधायकों की सफारी की तस्वीरों ने. बीएसपी से कांग्रेस में शामिल हुए विधायक राजेन्द्र गुडा, सदीप यादव, लाखन मीना और वाजिब अली के साथ कांग्रेस के विधायक गिरिराज मलिंगा अभी नज़र आये.  हालाँकि बीएसपी से कांग्रेस में शमिल होने वाले जोगिन्दर अवाना ने कहा की की सभी विधायक एक साथ है और कांग्रेस के तीनों प्रत्याशी ही जीतेंगे.और भ्रम फैलाने के लिए ही भाजपा सारा खेल खेल रही है.

हालाँकि इन विधायकों के विरोध को प्रेशर पोलिटिक्स के रूप में देखा जा रहा है लेकिन जिस तरह से राज्यसभा चुनाव नजदीक आता जा रहा है वहीँ नाराज विधायकों की फेहरिस्त भी लम्बी होती जा रही है. इससे साफ़ है की तीसरी सीट को लेकर कांग्रेस की राह आसन नहीं है.

Source : Lal Singh Fauzdar

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