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राजस्थान सरकार ने परीक्षा से संघ विचारक दीनदयाल उपाध्याय का नाम हटाया

राजस्थान की कांग्रेस सरकार ने स्कूली छात्रों के लिये माध्यमिक शिक्षा विभाग की ओर से आयोजित प्रतिभा खोज परीक्षा से राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के विचारक दीनदयाल उपाध्याय का नाम हटा दिया है.

Updated on: 06 Jun 2019, 02:39 PM

नई दिल्ली:

राजस्थान की कांग्रेस सरकार ने स्कूली छात्रों के लिये माध्यमिक शिक्षा विभाग की ओर से आयोजित प्रतिभा खोज परीक्षा से राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के विचारक दीनदयाल उपाध्याय का नाम हटा दिया है. शिक्षा मंत्री गोविंद सिंह डोटासरा ने बताया, 'पूर्व बीजेपी सरकार ने प्रतिभा खोज परीक्षा में बिना किसी कारण के दीनदयाल उपाध्याय का नाम जोड़ दिया था, इसलिये नाम को हटाया जा रहा है.' विभाग द्वारा कक्षा दसवीं और बारहवीं के छात्रों के लिये आयोजित परीक्षा में सफल उम्मीदवारों को छात्रवृत्ति प्रदान की जाती है.

कांग्रेस सरकार के इस निर्णय पर फिर से विवाद हो गया है. राजस्थान के पूर्व शिक्षा मंत्री वासुदेव देवनानी के सरकार बार- बार संघ विचारकों पर हमला करने का आरोप लगाया है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेताओं के नाम से कई योजनाएं और कार्यक्रम हैं लेकिन प्रतिभा खोज परीक्षा से पंडित दीनदयाल उपाध्याय के नाम को हटाया जाना कांग्रेस सरकार की संकीर्ण मानसिकता को दर्शाता है.

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पूर्व शिक्षा मंत्री ने कहा कि लोकसभा चुनाव में करारी हार से शर्मसार हुई कांग्रेस राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ विचारकों के नाम को हटाना, स्कूली पाठ्यक्रम में बदलाव करने संबंधी इस प्रकार के निर्णय ले रही है. साथ ही  उन्होंने ये भी कहा कि पंडित दीनदयाल उपाध्याय उन महान हस्तियों में से हैं जिनका लोकतंत्र में योगदान भावी पीढियों में सदैव प्रभाव बनाये रखेगा. सरकार का यह निर्णय बेतुका है.

इससे पूर्व देवनानी ने संघ विचारक विनायक दामोदर सावरकर को कक्षा दसवीं की सामान्य विज्ञान की पुस्तक में ''पुर्तगाल का पुत्र'’ बताये जाने पर सरकार को घेरा था.इस बदलाव को सरकार ने शिक्षा विशेषज्ञों की अनुशंसा के आधार पर लिया गया फैसला बताया था.