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Elephant Village Of India( Photo Credit : social media)
देशभर से पिछले दिनों लगातार कुछ ऐसी खबरें आयी, जिसमें हाथियों का गुस्सा देखने को मिला यानि हाथी और इंसानों के बीच टकराव देखने को मिला. अब क्या हाथी स्वभाव से गुस्सैल होता है या देश के अलग अलग हिस्सों से जो भीषण गर्मी पड़ रही है ये उसका असर है. इन सभी सवालों के जवाब जानने के लिए न्यूज नेशन की टीम भारत के एकमात्र हाथी गांव पहुंची. ये हाथी गांव जयपुर के आमेर में स्थित है, जहां करीब 80 हाथी और उनके महावतों के परिवार रहते है.
गर्मी में हाथियों को मॉर्निंग शावर दिया जाता है
हाथी जैसा बड़ा जानवर स्वभाव में कैसा होता है, क्या खाता है, कैसे रहता है और इंसानों के साथ उसका व्यवहार कैसा होता है. ये वो सवाल थे जिनके जवाब ढूंढ़ने के लिए हम हाथी गांव पहुंचे. जहां हमने हाथियों के महावत, डॉक्टर्स सभी से हाथी को लेकर सभी सवालों के जवाब जाने और देखा कि कैसे इंसान और हाथी एक ही जगह परिवार की तरह रह रहे है. इस गर्मी में हाथियों को मॉर्निंग शावर दिया जाता है, समय पर खास खाना दिया जाता है, जिसमें तरबूज और खास गन्ना और रंजका यानि हरी घास खिलाई जाती है.
80 हाथी और महावतों के परिवार एक साथ रहते हैं
आपने इंसानों के गांव देखे होंगे, घरों में अलग अलग सदस्यों के कमरे या घर देखे होंगे. आज हम आपको ऐसे गाँव में लेकर चल रहे है जो इंसानों के लिए नहीं बल्कि हाथियों के लिए बसाया गया है. यहां करीब 80 हाथी और महावतों के परिवार एक साथ रहते हैं. वो हाथी जो टूरिस्ट को सवारी करवाने आमेर महल जाते है उनको गर्मी में एक दिन छोड़ के एक दिन राइड पर भेजा जाता है. साल 2010 में बसाये गए हाथी गांव में बकायदा इंसानों की तरह अलग अलग कमरे होते हैं, जहां एक ब्लॉक में तीन हाथी और उनके परिवार रहते हैं.
हाथी के महावत आसिफ खान से बातचीत
क्या आपने कभी ऐसे गांव के बारे में सुना है जो सिर्फ हाथियों के लिए बसाया गया हो. ऐसा एक गांव जयपुर में है, जिसे हाथी गांव के नाम से जाना जाता है. यहां हाथियों के रहने के लिए वे सारे प्रबंध हैं, जिसे देखने देश-विदेश के सैलानी यहां आते हैं. जयपुर में आमेर फोर्ट के पास कुंडा गांव में एलीफैंट विलेज बसा हुआ है, जहां देश विदेश के पर्यटक हाथी सफारी का आनंद लेने आते हैं. इससे पर्यटक न केवल सफारी का लुत्फ उठा पाते हैं बल्कि उन्हें हाथियों की जीवनशैली को पास से जानने का अवसर मिल रहा है.
भारत का पहला हाथी गांव
आपको बता दें कि जयपुर में बसा यह हाथी गांव दुनिया का तीसरा और भारत का पहला हाथी गांव है. देश का यह एकमात्र हाथी गांव अपने आप में बेहद अनूठा है जिसे केवल हाथियों के लिए बसाया गया है. 100 एकड़ में इस गांव को बसाया गया है. यही वजह है कि इसे देखने के लिए देश विदेश से सैलानी आते हैं.
हाथियों के रहने के लिए थान बने हुए हैं
देश आजाद होने के बाद जब आमेर फोर्ट को सरकार ने आम लोगों के लिए खोला तो यहां एलिफेंट राइडिंग लोगों के बीच खासी लोकप्रिय हुई. ऐसे में आमेर के पास दिल्ली रोड पर एक गांव में हाथियों के रखने की व्यवस्था की गई. राजस्थान सरकार ने इस गांव में हाथियों की बढ़ती संख्या को देखकर इसे हाथी गांव घोषित कर दिया. अभी इस गांव में करीब 80 हाथी हैं. आमेर में स्थित यह गांव देश का एक मात्र हाथी गांव है जहां पर असम और केरल के हाथी हैं. इन हाथियों के रहने के लिए थान बने हुए हैं. एक ब्लॉक में तीन थान हैं और इस गांव में लगभग 20 ब्लॉक हैं. हाथी गांव में ना सिर्फ हाथियों के रहने के लिए बल्कि उनके नहाने के लिए तालाब, धूप के लिए मड बाथ का इंतजाम भी किया गया है.जहां बारिश के समय हाथी मड बाथ लेते हैं.
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Source : News Nation Bureau