विश्व प्रसिद्ध अजमेर (Ajmer) की सूफी संत हजरत ख्वाजा मोइनुद्दीन हसन चिश्ती की दरगाह इन दिनों ख्वाजा के भरोसे है. दरगाह के निजाम गेट पर मौजूद सुरक्षाकर्मी मोबाइल फोन में व्यस्त है तो कोई आराम फरमाने में, गरीब नवाज का सालाना उर्स थोड़े दिन पहले ही सम्पन्न हुआ है. इसके बावजूद भी दरगाह में हजारों की संख्या में जायरीन जियारत के लिए आ रहे है, तो वहीं तारागढ़ स्थित हजरत मीरा साहब का उर्स भी इन दिनों चल रहा है. जिसके मद्देनजर दरगाह में आने वाले जायरीनों की संख्या में इजाफा हो रहा है, भीड़ के चलते दरगाह बाजार सहित आसपास के क्षेत्रों में मेले जैसा माहौल है.
यह भी पढ़ें- राजस्थान: मुख्यमंत्री व उपमुख्यमंत्री ने ख्वाजा गरीब नवाज पर राहुल गांधी की तरफ से चढ़ाई चादर, दिया ये खास संदेश
ऐसे में जायरीनों की सुरक्षा में निजाम गेट पर तैनात पुलिसकर्मी साइड में बैठकर मोबाइल चलाने में व्यस्त है. दरगाह में अधिकतर जायरीन मुख्य निजाम गेट से दाखिल होते है, लेकिन सुरक्षाकर्मी इस ओर कोई ध्यान नही दे रहे. वो अपने मोबाइल में फ़ेसबुक, व्हाट्सएप चलाने में व्यस्त है. ऐसे में साफ जाहिर होता है कि दरगाह की सुरक्षा ख्वाजा भरोसे है, क्योंकि जिन हाथों में दरगाह की सुरक्षा का जिम्मा है वह स्वयं मोबाइल फ़ोन में व्यस्त है.
यह भी पढ़ें- अजमेर में मानवता शर्मसार, बीमार युवक को घसीटते हुए पहुंचाया प्रशासनिक कैंप
गौरतलब है कि 2007 में दरगाह में हुए बम ब्लास्ट के बाद से दरगाह में सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए है और दरगाह के सभी गेटो पर पुलिसकर्मी तैनात कर रखे है जो जायरीनो को जांच के बाद ही दरगाह परिसर में प्रवेश देते है. दरगाह में प्रतिदिन जायरीनो की भीड़ रहती है, ऐसे में जिला प्रसाशन को इस ओर ध्यान देना चाहिए, जिससे दरगाह में आने वाले जायरीन अपने आपको सुरक्षित महसूस कर सकें.
Source : News Nation Bureau