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जनता ने आप की सरकार बनाने का लिया फैसला- भगवंत मान

पंजाब की जनता ने इस बार सभी पारंपरिक पार्टियों को जड़ से उखाड़ फेंकने का मन बना लिया है और 10 मार्च को पंजाब में आम आदमी पार्टी की सत्ता स्थापित करने का ऐलान कर दिया है.

Updated on: 08 Feb 2022, 06:35 PM

नई दिल्ली:

आम आदमी पार्टी (आप) पंजाब के मुख्यमंत्री उम्मीदवार और धुरी से सांसद भगवंत मान ने आरोप लगाया कि पंजाब में सत्ता परिवर्तन की लहर को रोकने के लिए कांग्रेस और शिरोमणि अकाली दल गुप्त समझौते के तहत राज्य में विधानसभा चुनाव लड़ रहे हैं, ताकि आम आदमी पार्टी को पंजाब में सरकार बनाने से रोका जा सके और पारंपरिक सियासी पार्टियों की सत्ता कायम रहे. लेकिन पंजाब की जनता ने इस बार सभी पारंपरिक पार्टियों को जड़ से उखाड़ फेंकने का मन बना लिया है और 10 मार्च को पंजाब में आम आदमी पार्टी की सत्ता स्थापित करने का ऐलान कर दिया है,इसलिए सभी विरोधी दल बौखला गए हैं.

मंगलवार को पार्टी मुख्यालय से जारी बयान में भगवंत मान ने दावा किया कि पंजाब में आम आदमी पार्टी की लहर है. यही कारण है कि पंजाब को पिछले 70 सालों से बारी-बारी से लूटने वाली सभी पारंपरिक सियासी पार्टियां, कांग्रेस, शिरोमणि अकाली दल और भारतीय जनता पार्टी मिलकर पंजाब में आम आदमी पार्टी के विजय रथ को रोकने में जुट गई हैं.

मान ने विधानसभा चुनाव 2017 का जिक्र करते हुए कहा कि उस समय भी अकाली दल और कांग्रेस ने दुबई में हुए समझौते के तहत मिलकर चुनाव लड़ा था और इसी समझौते के तहत बादलों को जिताने के लिए लंबी और जलालाबाद से कैप्टन अमरिंदर सिंह और रवनीत सिंह बिट्टू को कांग्रेस ने मैदान में उतरा था. भगवंत मान ने कहा कि बादल और कांग्रेस के राजनीतिक समझौता की पुष्टि मीडिया के साथ साथ अकाली दल से राज्यसभा सांसद व वरिष्ठ नेता नरेश गुजराल ने भी की थी.

भगवंत मान ने कहा कि कांग्रेस, अकाली दल और भाजपा का गुप्त समझौता केवल 2017 के चुनावों तक ही सीमित नहीं था बल्कि इन पार्टियों के काले कारनामों को छुपाने और अदालतों में चल रहे मामलों को खत्म करने तक भी था, जोकि आज भी जारी है. उन्होंने कहा कि गुप्त समझौते के तहत ही पूर्व मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने ड्रग तस्करी के मामले में अकाली नेता बिक्रम सिंह मजीठिया के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की और न ही केंद्र सरकार की एजेंसी इंफोर्समेंट डायरेक्टरेट (ईडी) ने कोई कार्रवाई की. यहां तक कि पंजाब में धार्मिक ग्रंथों की बेअदबी और गोलीकांड में भी कैप्टन ने जनता को इंसाफ नहीं दिया.

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भगवंत मान ने कहा कि 2022 की विधानसभा चुनाव में अपनी हार के डर से कांग्रेस और शिरोमणि अकाली दल समेत भाजपा अंदर खाते एक हो गई हैं, ताकि आम आदमी पार्टी को सरकार बनाने से रोका जा सके. मान ने दावा किया कि पंजाब के लोग पूरी तरह जागरूक और लामबंद हैं. उन्होंने पारंपरिक पार्टियों से छुटकारा पाने के लिए राज्य में आम आदमी पार्टी की सरकार बनाने का मन बना लिया है.