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कृषि बिल: किसानों का 'रेल रोको' आंदोलन जारी, रेलवे ट्रैकों पर डाला डेरा

कृषि से जुड़े विधेयकों के खिलाफ किसानों का आंदोलन तेज होता जा रहा है. खासकर हरियाणा और पंजाब के किसानों में भारी रोष देखने को मिल रहा है.

Updated on: 25 Sep 2020, 08:10 AM

अमृतसर:

कृषि से जुड़े विधेयकों के खिलाफ किसानों का आंदोलन तेज होता जा रहा है. खासकर हरियाणा और पंजाब के किसानों में भारी रोष देखने को मिल रहा है. किसान संगठनों ने आज पंजाब में बंद का आह्वान किया तो उधर किसानों का तीन दिवसीय 'रेल रोको' आंदोलन भी जारी है. कृषि विधेयकों के विरोध में किसान मजदूर संघर्ष समिति को अमृतसर में रेलवे ट्रैक को जाम कर रखा है. कल से शुरू हुए 'रेल रोको' आंदोलन के तहत किसान रेलवे ट्रैकों पर डेरा डाले हुए हैं.

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किसान मजदूर संघर्ष समिति के बैनर तले किसान अमृतसर के देवीदासपुर और फिरोजपुर के बस्ती टांका वाला में रेल पटरियों पर बैठे हैं. समिति बिल के खिलाफ 24 से 26 सितंबर तक 'रेल रोको' आंदोलन कर रही है. 'रेल रोको' आंदोलन का आह्वान किसान मजदूर संघर्ष समिति ने किया और बाद में अलग-अलग किसान संगठनों ने भी इसे अपना समर्थन दिया. भारतीय किसान यूनियन (एकता उग्रहण) के कार्यकर्ता बरनाला और संगरूर में गुरुवार को रेल पटरियों पर बैठ गए.

उधर, इसके मद्देनजर किसी भी अप्रिय घटना से बचने के लिए रेलवे ने कई ट्रेनों का परिचालन रोक दिया है. रेल अधिकारियों ने बताया कि 14 जोड़ी विशेष ट्रेनें 24 सितंबर से 26 सितंबर तक निलंबित रहेंगी. यह फैसला यात्रियों की सुरक्षा और रेलवे संपत्ति को किसी भी तरह के नुकसान से बचाने को ध्यान में रखते हुए लिया गया है.

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गोल्डेन टेम्पल मेल (अमृतसर-मुंबई सेंट्रल), जन शताब्दी एक्सप्रेस (हरिद्वार-अमृतसर), नयी दिल्ली-जम्मू तवी, कर्मभूमि (अमृतसर-न्यू जलपाईगुड़ी), सचखंड एक्सप्रेस (नांदेड़-अमृतसर) और शहीद एक्सप्रेस (अमृतसर-जयनगर) निलंबित ट्रेनों की सूची में शामिल हैं. कई मालगाड़ी और पार्सल ट्रेनों का भी समय बदला गया है. मौजूदा समय में कोविड-19 महामारी की वजह से नियमित यात्री ट्रेनें पहले से ही निलंबित हैं.