क्या पन्नीरसेल्वम की जगह शशिकला नटराजन बनेंगी तमिलनाडु की मुख्यमंत्री, AIADMK की बैठक में कल हो सकता है फैसला

जयललिता की करीबी और पार्टी की महासचिव वीके शशिकला मुख्यमंत्री पद की शपथ ले सकती है।

जयललिता की करीबी और पार्टी की महासचिव वीके शशिकला मुख्यमंत्री पद की शपथ ले सकती है।

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Aditi Singh
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क्या पन्नीरसेल्वम की जगह शशिकला नटराजन बनेंगी तमिलनाडु की मुख्यमंत्री, AIADMK की बैठक में कल हो सकता है फैसला

तमिलनाडु की पूर्व मुख्यमंत्री जयललिता के निधन के बाद अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कडग़म (एआईडीएमके) में सत्ता को लेकर तेजी से बदलाव हो रहा है। सूत्रों के मुताबिक जयललिता की करीबी और पार्टी की महासचिव वीके शशिकला मुख्यमंत्री पद की शपथ ले सकती है। जयललिता के निधन के बाद पार्टी के ओ पन्नीरसेल्वम मुख्यमंत्री पद को संभाल रहे हैं।

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माना जा रहा है कि रविवार को बुलाई गई एआईडीएमके के विधायकों की बैठक में इस बारे में फैसला लिया जा सकता है। खबरों के मुताबिक 8 या 9 फरवरी को इस बात का अधिकारिक ऐलान हो सकता है।

हालांकि शशिकला को पार्टी के भीतर कई विरोधों का सामना करना पड़ रहा है। इसके बावजूद शशिकला ने पार्टी के ज्यादातर अधिकार अपने हाथ में ले लिए। इसके बाद यह तय हुआ है कि उन्हें राज्य का नया मुख्यमंत्री बनाया जाएगा। शशिकला अपने विरोधियों को भी एक-एक कर हटा रही हैं।

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सूत्रों के मुताबिक रविवार को बुलाई गई पार्टी विधायकों की बैठक में शशिकला को पार्टी के साथ-साथ सरकार का भी नेतृत्व सौंपे जाने पर निर्णय लिया जा सकता है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार जयललिता की करीबी और तमिलनाडु सरकार की मौजूदा सलाहकार शीला बालाकृष्णन को भी शुक्रवार रात इस्तीफा देने का निर्देश दे दिया। इस सारी कवायद को शशिकला को कुर्सी सौंपे जाने की तैयारी के रूप में देखा जा रहा है।

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शशिकला जयललिता की बेहद करीबी रही हैं। जयललिता को कब क्या चाहिए, क्या पहनेंगी, सबका प्रबंधन शशिकला की देखरेख में होता था। यही कारण है कि वह जयललिता की भरोसेमंद बनीं। और अब पार्टी कार्यकर्ता भी 'चिनम्मा' (शशिकला) को 'अम्मा' की जगह देते हैं।

शशिकला को जयललिता ने पार्टी से निकाला भी गया था। पहली बार 1996 में और दूसरी बार 2011 में शशिकला को पार्टी से बाहर निकाल दिया गया था। अम्मा ने 1996 में कहा था कि पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं की इच्छा के अनुसार शशिकला से खुद को दूर किया था।

1991-1996 के बीच जब एआईएडीएमके सत्ता में थी तब शशिकला पर भ्रष्टाचार के आरोप लगे थे और इन्हीं आरोपों के मद्देनजर शशिकला को पार्टी से बाहर किया गया था।

Source : News Nation Bureau

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