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बागियों को अपना मानता हूं, बीजेपी में खुश हैं तो वहीं रहें: उद्धव ठाकरे

महाराष्ट्र में जारी राजनीतिक संकट के बीच पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे का बयान आया है. उन्होंने कहा है कि बीजेपी से जुड़ने वाले विधायकों को अगर उनके साथ रहने में खुशी है तो वो उन्हीं के साथ रहें. मैं उन लोगों को अपना ही मानता हूं.

Updated on: 09 Jul 2022, 12:31 PM

highlights

  • उद्धव ठाकरे बोले, हमें गालियां देने वालों की गोद में बैठे बागी
  • अगर वो बीजेपी के साथ खुश हैं, तो वहीं रहें
  • सूरत जाने की जगह मातोश्री आते विधायक

मुंबई:

महाराष्ट्र में जारी राजनीतिक संकट के बीच पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे का बयान आया है. उन्होंने कहा है कि बीजेपी से जुड़ने वाले विधायकों को अगर उनके साथ रहने में खुशी है तो वो उन्हीं के साथ रहें. मैं उन लोगों को अपना ही मानता हूं. लेकिन मेरे लिए मेरी पार्टी के लोगों के आंसू ज्यादा अहम हैं. उद्धव ठाकरे ने कहा कि शिवसेना के बागी विधायक उन लोगों की गोद में बैठे हैं जिन्होंने उन्हें और उनके परिवार को गाली दी थी. यहां तक ​​कि आदित्य ठाकरे को खत्म करने की कोशिश की थी. 

मेरे साथ खड़े रहे 14 विधायकों को धन्यवाद

उद्धव ठाकरे ने बागी विधायकों का जिक्र करते हुए कहा कि जो इतने दिनों से खामोश थे, वे दूसरी तरफ चले गए हैं और बोल रहे हैं कि अगर मातोश्री उन्हें सम्मान से बुलाती है और उद्धव भाजपा के साथ गठबंधन करते हैं तो वे वापस पार्टी में आ जाएंगे. ठाकरे ने कहा कि मैं इस मुद्दे पर मीडिया के जरिए पहले ही अपनी बातें कह चुका हूं. उद्धव ठाकरे ने कहा कि मेरे साथ खड़े 14 विधायकों को मैं धन्यवाद देता हूं. जो इतनी धमकियां मिलने के बावजूद मेरे साथ खड़े हुए. ऐसे साहसी लोग जिनके पास होंगे, उनकी जीत तय है. क्योंकि सच्चाई की जीत होती है.

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सूरत जाने की जगह मातोश्री आते विधायक

उद्धव ठाकरे ने कहा कि जो लोग एकनाथ शिंदे के साथ गए, उन्हें सूरत जाने की जगह मातोश्री आना चाहिए था. ठाकरे ने कहा कि बागी विधायक कहते हैं कि वे मातोश्री से प्यार करते हैं, वे उद्धव ठाकरे से प्यार करते हैं, वे आदित्य ठाकरे से प्यार करते हैं और इसके लिए मैं उन्हें धन्यवाद देना चाहता हूं. दूसरी तरफ जाने के बाद भी आप हमें इतना प्यार करते हैं, मैं इसके लिए आभारी हूं. 

शिवसेना को मिलेगी सुप्रीम कोर्ट में जीत

इस दौरान उन्होंने सुप्रीम कोर्ट की सुनवाई को लेकर भी अपनी बात रखी. उन्होंने मुझे न्यायपालिका पर पूरा भरोसा है. 11 जुलाई को जो कुछ भी होगा, उससे पार्टी का भविष्य तय नहीं होगा. शिवसेना का क्या होगा यह पार्टी कार्यकर्ताओं द्वारा तय किया जाएगा. उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट में लोकतंत्र की परीक्षा है, जिसे शिवसेना पास कर लेगी.