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क्राइम न्यूज Photograph: (Freepik)
महाराष्ट्र के सतारा जिले में एक महिला डॉक्टर ने पुलिस सब-इंस्पेक्टर पर लगातार यौन उत्पीड़न के आरोप लगाते हुए आत्महत्या कर ली. वह फलटण उप-जिला अस्पताल में मेडिकल ऑफिसर के रूप में तैनात थीं. गुरुवार रात उन्होंने अस्पताल में ही सुसाइड कर ली.
अपने अंतिम पलों में उन्होंने अपने बाएं हाथ की हथेली पर लिखा कि पुलिस अधिकारी गोपाल बडने की प्रताड़ना ने उन्हें यह कदम उठाने को मजबूर किया. आरोप है कि बडने ने पांच महीनों में चार बार उनके साथ दुष्कर्म किया और मानसिक व शारीरिक रूप से परेशान करता रहा.
शिकायत होने पर नहीं की कार्रवाई
डॉक्टर ने सिर्फ बडने ही नहीं, बल्कि पुलिस अधिकारी प्रशांत बैंकड़ पर भी मानसिक उत्पीड़न के आरोप लगाए. सबसे चिंताजनक बात यह है कि पीड़िता ने जून में ही डिप्टी एसपी को लिखित शिकायत भेजकर तीन पुलिस अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की थी. उन्होंने स्पष्ट कहा था कि वह तनाव में हैं और मामले की जांच की जाए, लेकिन शिकायत पर कोई असरदार कदम नहीं उठाया गया. यह लापरवाही अब बड़ा सवाल बनकर सामने खड़ा है.
मौत के बाद मामला हुआ गर्म
पीड़िता की मौत के बाद यह मामला राजनीतिक रूप से गरमा गया है. विपक्षी कांग्रेस ने महायुति सरकार पर तीखा हमला बोला. कांग्रेस नेता विजय वडेट्टीवार ने कहा कि जब सुरक्षा करने वाले ही शोषक बन जाएं तो जनता कहां जाएगी.
उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार पुलिस को बचाने की नीति अपना रही है जिससे ऐसी घटनाएं बढ़ रही हैं. उनके मुताबिक सिर्फ जांच के आदेश देना काफी नहीं, दोषी पुलिसकर्मियों की तुरंत सेवा से बर्खास्तगी और जिन अधिकारियों ने शिकायत दबाई, उन पर भी कार्रवाई होनी चाहिए.
सरकार ने दिए जांच के आदेश
उधर, सत्ताधारी बीजेपी ने भरोसा दिलाया कि मामले की पूरी तरह जांच होगी और आरोपियों को बख्शा नहीं जाएगा. बीजेपी नेता चित्रा वाघ ने कहा कि FIR दर्ज की जा रही है और एक आरोपी जो सतारा से बाहर है उसे पकड़ने के लिए टीम भेजी गई है. उन्होंने महिलाओं से अपील की कि ऐसी स्थिति में मदद लेने से पीछे न हटें और हेल्पलाइन 112 का उपयोग करें.
एनसीपी नेतृत्व ने भी इस घटना की निंदा की और कहा कि महिलाओं पर अत्याचार के मामलों में सरकार की जीरो टॉलरेंस नीति है. महिला आयोग ने भी पुलिस प्रशासन से तत्काल रिपोर्ट और कड़ी कार्रवाई की मांग की है.
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