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महाराष्ट्र की सियासत में औरंगजेब का जिन्न, सत्ता पक्ष और विपक्ष एकदूसरे पर हमलावर   

अहमदनगर में औरंगजेब की फोटो लहराने के बाद कोल्हापुर में औरंगजेब और टीपू सुल्तान के समर्थन में व्हाट्सएप स्टेटस रखने के बाद महाराष्ट्र की सियासत तेज हो गई है.

Updated on: 09 Jun 2023, 09:11 PM

नई दिल्ली:

भले ही औरंगजेब को मरे कई 100 साल बीत चुके हैं लेकिन महाराष्ट्र के सियासत में इन दिनों औरंगजेब का जिन्न बाहर आ गया है और सत्ता पक्ष और विपक्ष एक दूसरे के ऊपर औरंगजेब को लेकर हमलावर हो गए हैं. औरंगजेब के नाम पर महाराष्ट्र की सियासत इस समय गरमाई हुई है. अहमदनगर में औरंगजेब की फोटो लहराने के बाद कोल्हापुर में औरंगजेब और टीपू सुल्तान के समर्थन में व्हाट्सएप स्टेटस रखने के बाद महाराष्ट्र में सियासी पारा चढ़ गया है. पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि महाराष्ट्र में  औरंगजेब की औलादोॆ को बख्शा नहीं जाएगा.

बीजेपी के नेता और केंद्रीय मंत्री नारायण राणे के बेटे नीलेश राणे ने औरंगजेब की तुलना शरद पवार से कर दी है. निलेश राणे ने ट्वीट करते हुए कहा कि महाराष्ट्र में औरंगजेब का पुनर्जन्म मतलब शरद पवार. इस ट्वीट के बाद एनसीपी सड़कों पर उतर गई और निलेश राणे और बीजेपी के खिलाफ प्रदर्शन करने लगी, एनसीपी के कार्यकर्ता और नेता जगह-जगह महाराष्ट्र में प्रदर्शन करने लगे. बीजेपी और नीलेश राणे के खिलाफ जमकर हंगामा किया. कांग्रेस और उद्धव ठाकरे ग्रुप भी औरंगजेब के मुद्दे पर बीजेपी को घेरने में लगा है. कांग्रेस नेता सचिन सावंत ने कहा कि महाराष्ट्र में जिस तरीके से राजनीति का स्तर गिर रहा है और जिस तरीके से औरंगजेब के नाम पर राज्य के भीतर सरकार सियासत कर रही है वह ठीक नहीं है 

वहीं उद्धव ठाकरे ग्रुप के प्रवक्ता आनंद दुबे ने कहा कि राज्य में औरंगजेब का महिमामंडन नहीं होना चाहिए. छत्रपति शिवाजी महाराज न केवल महाराष्ट्र बल्कि देश के लिए गौरव हैं लेकिन जिस तरीके से औरंगजेब के नाम पर राजनीति हो रही है उससे यह साफ है कि बीजेपी जानबूझकर इस तरीके के मुद्दों को बीच में ला रही है

आनंद दुबे उद्धव ठाकरे ग्रुप के प्रवक्ता 

मामला औरंगजेब का था इसलिए छत्रपति संभाजी नगर से सांसद इम्तियाज जलील ने सरकार पर जोरदार हमला बोलते हुए कहा कि अगर औरंगजेब से इतनी घृणा है तो औरंगजेब की कब्र को सुरक्षा खुद मोदी सरकार और केंद्रीय गृह मंत्रालय कर रहा है और राज्य में औरंगजेब के नाम पर सियासी ड्रामा किया जा रहा है. महाराष्ट्र के भीतर सरकार खुद दंगे करवाना चाह रही है.

छत्रपति शिवाजी के 350 वे राज्य अभिषेक के वर्ष में महाराष्ट्र के भीतर औरंगजेब को लेकर जिस तरीके से सियासत गरमाई है, उससे लग रहा है कि आने वाले चुनाव में औरंगजेब का मुद्दा सबसे अहम होगा.