महाराष्ट्र सरकार का एक वर्ष पूरा, उद्धव ठाकरे की सत्ता पर पकड़ मजबूत

महाराष्ट्र की महाविकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार शनिवार को अपना एक वर्ष पूरा करने जा रही है.

महाराष्ट्र की महाविकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार शनिवार को अपना एक वर्ष पूरा करने जा रही है.

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Dalchand Kumar
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Uddhav Thackeray

महाराष्ट्र सरकार का एक वर्ष पूरा, उद्धव ठाकरे की सत्ता पर पकड़ मजबूत( Photo Credit : फाइल फोटो)

महाराष्ट्र की महाविकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार शनिवार को अपना एक वर्ष पूरा करने जा रही है और राजनीतिक विशेषज्ञों का कहना है कि मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को सत्ता से हटाने की भाजपा की तमाम कोशिशों के बावजूद सत्ता पर उनकी पकड़ मजबूत हुई है. शिवसेना, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी और कांग्रेस की गठबंधन वाली एमवीए सरकार ने अपना एक वर्ष का कार्यकाल पूरा कर लिया है और इसका श्रेय ठाकरे और राकांपा प्रमुख शरद पवार के बीच घनिष्ठता को दिया जाता है, हालांकि ये आरोप भी लगते रहें हैं कि सहयोगी दलों के बीच समन्वय की कमी है.

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महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के बाद भाजपा के साथ लंबी चली खींचतान के बाद शिवसेना ने भाजपा का साथ छोड़ कर राकांपा और कांग्रेस के सहयोग से सरकार बनाई. उन्होंने पिछले वर्ष 28 नवंबर को मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी. कोरोना वायरस महामारी और प्राकृतिक आपदाएं जैसे चक्रवात निसर्ग, पूर्व विदर्भ, मराठवाड़ा और पश्चिमी महाराष्ट्र के कुछ हिस्सों में बाढ़ आदि घटनाओं ने ‘ठाकरे सरकार’ के सामने कड़ी चुनौतियां पेश की.

जानकारों का कहना है कि इस दौरान मुख्यमंत्री पर घर से काम करने के आरोप लगे लेकिन इसके अलावा उन पर कोई आरोप नहीं लगा. इसके अलावा उन्हें और उनके बेटे आदित्य को अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत मामले में फंसाने की कोशिशें भी नाकाम साबित हुईं. आदित्य राज्य सरकार में मंत्री हैं. राज्य सरकार के एक वरिष्ठ मंत्री ने कहा कि उद्धव ठाकरे सबको साथ लेकर चलने पर विश्वास करते हैं, अपने को किसी पर थोपते नहीं हैं. हालांकि राज्य में इस दौरान पालघर में दो साधुओं की पीट-पीटकर हत्या और अभिनेता सुशांत सिंह की मौत का मामला राजनीतिक सुर्खियां बना रहा.

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राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री एवं भाजपा नेता देवेन्द्र फडणवीस सहित पार्टी के अन्य नेताओं ने ठाकरे और आदित्य पर निशाना साधा और आदित्य का नाम सुशांत मामले में खींचने की कोशिशें भी हुई. आत्महत्या के लिए उकसाने के एक मामले में पत्रकार अर्नब गोस्वामी को गिरफ्तार किए जाने और अभिनेत्री कंगना रनौत के बांद्रा स्थित बंगले के कुछ हिस्से को शिवसेना नीत बीएमसी द्वारा ढहाए जाने के मामले में भी ठाकरे भाजपा के निशाने पर आए.

इन घटनाओं और राज्य में संक्रमण के बढ़ते मामलों के बीच एमवीए सरकार की स्थिरता को लेकर भी कयास लगाए जाने लगे थे. लेकिन शिवसेना नेता संजय राउत ने कहा कि राज्य की एमवीए सरकार को कोई खतरा नहीं हैं और यह तभी गिरेगी जब तीनों में से कोई एक पार्टी बाहर होगी.

Source : Bhasha

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