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ncp leader ajit pawar (social media )
Ajit Pawar News: महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के अजित पवार अक्सर ही सुर्खियों में रहने वाले नेता रहे हैं. महाराष्ट्र में राजनीतिक अस्थिरता के दौरान अजित पवार चर्चाओं के केंद्र में रहे हैं. बीते लोकसभा चुनाव में चाचा शरद पवार के साथ उनके राजनीतिक टकराव की चर्चा रही. महाराष्ट्र विधानसभा में भी उन पर कई आरोप लगे. इस बीच वे एक महिला IPS अधिकारी से उलझ गए. दोनों के बीच तीखी बहस सोशल मीडिया पर वायरल होने लगी.
इसमें महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम आईपीएस अधिकारी को धमकी देते सुनाई दिए. उपमुख्यमंत्री के नाते अजित पवार महाराष्ट्र कैबिनेट में नंबर दो की हैसियत रखते हैं. प्रदेश का पुलिस डिपार्टमेंट संबंधित राज्य के गृह विभाग के तहत आता है. यह डिपार्टमेंट सीएम देवेंद्र फडणवीस के अंतर्गत आता है. ऐसे में क्या इसे दखलअंदाजी नहीं कहा जाएगा? अब इस पर अजीत पवार ने सफाई दी है.
Maharashtra Deputy CM Ajit Pawar tweets, "My attention has been drawn to certain videos circulating regarding my interaction with police officials in Solapur. Let me state clearly that my intention was not to interfere with law enforcement but to ensure that the situation on the… pic.twitter.com/lIaYTo0Xjm
— ANI (@ANI) September 5, 2025
कानून के अनुसार सख्ती से निपटा जाए
अजीत पवार ने ट्वीट करते हुए कहा, "सोलापुर में पुलिस अधिकारियों के साथ उनकी बातचीत से संबंधित में कुछ वीडियो ने मेरा ध्यान आकर्षित किया है. मैं स्पष्ट रूप से कहना चाहता हूं कि मेरा इरादा कानून प्रवर्तन में हस्तक्षेप करने का नहीं था,बल्कि यह तय करने का था कि जमीनी स्तर पर हालात शांत रहें. ये आगे न बिगड़े. मैं अपने पुलिस बल और उसके अधिकारियों, जिनमें महिला अधिकारी भी शामिल हैं जो विशिष्टता और साहस के साथ सेवा करती हैं, का बहुत सम्मान करता हूं. मैं कानून के शासन को सबसे ऊपर रखता हूं. मैं पारदर्शी शासन के लिए और यह सुनिश्चित करने के लिए दृढ़ता से प्रतिबद्ध हूं कि रेत खनन सहित हर अवैध गतिविधि से कानून के अनुसार सख्ती से निपटा जाए."
जानें क्या है मामला
दरअसल, फोन पर अजित पवार ने महिला आईपीएस अधिकारी को सूचना दी कि वे महाराष्ट्र के ‘डीसीएम अजित पवार’ हैं. इसके साथ ही उन्होंने कार्रवाई को रोकने का आदेश दिया. अधिकारी ने उन्हें पहचानने से इनकार कर दिया. महिला अधिकारी का कहना था कि वह सीधे उनके फोन पर कॉल करें. इस पर अजित पवार भड़क गए. उन्होंने कहा, तुम पर कार्रवाई करूंगा, इतनी हिम्मत है तुम्हारी? मेरा चेहरा तो पहचानोगी ना! इसके बाद अजित पवार ने वीडियो कॉल लगा दिया. वीडियो कॉल में अजित पवार ने अधिकारी को रोकने और तहसीलदार से बात करने के निर्देश दिए. यह पूरा घटनाक्रम में करीब 3.00 घंटे तक चलता रहा. बाद में यह बातचीत सोशल मीडिया पर वायरल हो गई और पूरा मामला मीडिया में आ गया.
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